गौरी लंकेश हत्या: पत्रकार संगठनों सहित कई नेताओं ने की कड़ी निंदा

Last Updated 06 Sep 2017 12:10:12 PM IST

विभिन्न पत्रकार संगठनों, राजनीतिक दलों के नेताओं, जाने माने बुद्धिजीवियों और लेखकों ने पत्रकार गौरी लंकेश की निर्मम हत्या की कड़ी निन्दा की है और दोषियों को तत्काल गिरफ्तार करने की मांग की है.


गौरी लंकेश हत्या (फाइल फोटो)

कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी तथा उपाध्यक्ष राहुल गांधी, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के नेता अतुल कुमार अंजान और मार्क्‍सवादी कम्युनिस्ट पार्टी ने गौरी की हत्या को अभिव्यक्ति की आजादी के लिए खतरनाक बताते हुए इसके घटना के लिए साम्प्रदायिक ताकतों को जिम्मेदार बताया है. भारतीय जनता पार्टी ने भी घटना की कड़ी निन्दा की है और कहा है कि दोषियों का पता लगाकर उन्हें सख्त सजा दी जानी चाहिए.

मुंबई प्रेस क्लब के सचिव धम्रेद्र जोरे ने बताया कि मुंबई प्रेस क्लब में आज शाम कैंडल मार्च निकाला जाएगा. उन्होंने कहा, पत्रकार गौरी लंकेश की हत्या की निंदा और विरोध करने के लिए पत्रकार आज शाम सात बजे मुंबई प्रेस क्लब से कैंडल मार्च निकालेंगे. 
     
मुंबई प्रेस क्लब के अलावा टीवी पत्रकार संघ, फोटोग्राफर संघ और नेटवर्क ऑफ विमेन इन मीडिया इस विरोध प्रदर्शन में शामिल होंगे.  इनके अलावा विभिन्न महिला एवं सामाजिक संगठनों और प्रेस क्लबों ने बयान जारी कर और धरना प्रदर्शन कर इस घटना की भर्त्स्ना की है.

प्रेस क्लब ऑफ इंडिया (दिल्ली), दिल्ली पत्रकार संघ (डीयूजे), प्रेस एसोसिएशन, इंडियन महिला प्रेस कोर और आल इंडिया न्यूजपेपर्स एडिटर्स कांफ्रेंस, अखिल भारतीय जनवादी महिला संघ और सामाजिक संगठन अनहद के अलावा सुप्रसिद्ध इतिहासकार रोमिला थापर, जाने माने लेखक अशोक वाजपेयी, अंग्रेजी लेखिका शशि देशपांडे, नयनतारा सहगल, केकी दारूवाला, अम्बेडकर विविद्यालय के कुलपति श्याम वी मेनन, साहित्य अकादमी के पूर्व सचिव के सच्चिदानन्दन, मशहूर वकील इंदिरा जयसिंह, योजना आयोग की पूर्व सदस्य सईदा हमीद, मशहूर पाकार एवं ईपीडब्ल्यू पत्रिका के पूर्व संपादक प्रंजय गुहा ठाकुर्ता, साहित्य अकादमी पुरस्कार विजेता मंगलेश डबराल, वरिष्ठ पाकार मानिनी चटर्जी और सीमा मुस्तफा ने भी इस घटना की कड़ी निन्दा की है.
 

पुडेचेरी पत्रकार संघ ने जानी-मानी कन्नड़ पत्रकार और कार्यकर्ता गौरी लंकेश की बेंगलूरू में हुई हत्या की आज निंदा की है. पत्रकार संघ के अध्यक्ष डी शिवकुमार ने एक विज्ञप्ति में इस हत्या को नृशंस और बेहद निंदनीय बताया है. उन्होंने कहा कि इस कायराना कृत्य में संलिप्त दोषियों के खिलाफ मामला दर्ज होना चाहिए और उनके खिलाफ कड़ी कार्वाई होनी चाहिए. उन्होंने कहा कि प्रेस की स्वतंत्रता का गला कभी नहीं घोंटा जा सकता. लोकतंत्र एवं संवैधानिक सर्वोच्चता के हित के लिए स्पष्ट टिप्पणियां एवं बेखौफ विचार व्यक्त करने वाले पत्रकारों की सुरक्षा सुनिश्चित की जानी चाहिए.

द एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया ने वरिष्ठ पत्रकार गौरी लंकेश की हत्या की आज कड़ी निंदा की और इस घटना की न्यायिक जांच कराने की मांग की.

सूचना एवं प्रसारण मंत्री स्मृति ईरानी ने बेंगलूरू में वरिष्ठ पत्रकार गौरी लंकेश की हत्या की आज निंदा की है और उम्मीद जताई है कि इस मामले में त्वरित जांच होगी और उन्हें न्याय मिलेगा.

स्मृति ईरानी ने ट्विटर पर कहा,   वरिष्ठ पत्रकार गौरी लंकेश की हत्या की निंदा करती हूं. उम्मीद करती हूं कि त्वरित जांच होगी और न्याय मिलेगा. मेरी संवेदनाएं परिवार के साथ हैं. 

 

कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने कन्नड़ की जानी मानी पत्रकार गौरी लंकेश की हत्या की निंदा करते हुये दोषियों को सजा दिलाने की मांग की है. गांधी ने आज ट्वीट करते हुए कहा  सच्चाई को दबाया नहीं जा सकता, गौरी लंकेश हमारे दिल में बसती हैं, मेरी उनके परिवार के प्रति संवेदना है, दोषियों को दंड मिलना चाहिये.

 

भाकपा नेता अतुल कुमार अंजान ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के सत्ता में आने के बाद से अंध राष्ट्रवाद, साम्प्रदायिक उन्माद और वैचारिक संकीर्णता काफी बढ़ी है. इसके कारण हाल के वर्षों में पंसारे, दाभोलकर और कलबुर्गी के बाद गौरी लंकेश जैसे तर्कवादी और प्रगतिशील मूल्यों के बुद्धिजीवियों की हत्या हुई है. उन्होंने कहा कि यह बहुत चिंता की बात है कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और संघ परिवार इन हत्याओं पर चुप्पी लगाये बैठा है.
               
माकपा पोलित ब्यूरो ने अपने बयान में कहा कि गौरी की हत्या भी उसी तरह हुई है, जिस तरह पंसारे, दाभोलकर और कलबुर्गी की हत्या हुई थी और ये सभी घटनाएं एक ही ढंग से हुई है, जिसका मकसद असहमति की आवाज को दबाना है. ये सभी घटनाएं एक दूसरे से जुड़ी हुई हैं. भाजपा, आरएसएस और हिन्दुत्ववादी ताकतों को यही एजेंडा है.

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व मंत्री कपिल सिब्बल ने कहा कि गौरी लंकेश की हत्या बेबाकी से राय रखने वालों की आवाज शांत कराने का प्रयास है. उन्होंने पत्रकार की हत्या को सदी बताया.

अपने वामपंथी नजरिए और हिंदुत्व राजनीति पर बेबाक विचारों के लिए जानी जाने वाली गौरी की कल रात बेंगलुरू में उनके आवास में अज्ञात हमलावरों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी.

गौरी की हत्या की निंदा करने के लिए कुछ सामाजिक कार्यकर्ताओं ने भी आज शाम उपनगर बांद्रा में एक सभा आयोजित की है.
     
पुलिस अधिकारियों ने बताया कि 55 वर्षीय गौरी कार से अपने घर लौटी थी. जब वह दरवाजा खोल रही थीं तभी मोटरसाइकिल पर सवार अज्ञात हमलावरों ने उन पर अंधाधुंध गोलीबारी की. गौरी का मौके पर ही निधन हो गया.
 

 

एजेंसियां


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