सबसे बड़े बदलाव के लिए तैयार अयोध्या
अयोध्या अपने आधुनिक इतिहास के सबसे बड़े बदलाव के लिए तैयार है और बदलाव की इस घड़ी में उसे समाज के हर वर्ग का साथ मिल रहा है।
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इसका कारण यह है कि यह बदलाव समाज के सभी लोगों के लिए विकास और उन्नति के नए रास्ते खोलेगा। अयोध्या भारत के पर्यटन मैप पर प्रमुखता से उभरेगा और इससे हर धर्म और संप्रदाय के लोगों को रोजगार और विकास के साधन उपलब्ध होंगे।
इस बदलाव को मुस्लिम समाज ने भी आत्मसात किया है, क्योंकि यह अयोध्या को विकास की मुख्य धारा में शामिल करेगा। बाबरी मास्जिद के पक्षकार इकबाल अंसारी ने कहा कि आयोध्या में मंदिर बनने की मुझे बहुत खुशी है। यहां पर शुरू से ही आपसी सौहार्द रहा है। किसी के साथ मनभेद नहीं रहा है। मंदिर बनने से और निकटता बढ़ेगी। नए-नए रोजगार के साधन बढ़ेंगे। यहां पर जिस प्रकार से कई सारी योजनाओं का खाका तैयार किया गया है, उससे लगता है कि अयोध्या में बहुत ज्यादा उद्योग भी लगेंगे।
मंदिर बनना हमारे लिए विकास की नई इबारत लिखने जैसा है। टैक्सी ड्राइवर शोहरत अली ने कहा कि अयोध्या में मंदिर निर्माण बड़ी खुशी की बात है। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अयोध्या का नाम है। मंदिर बनने के बाद लोगों को रोजी-रोटी के अवसर मिलेंगे। हम लोग तो यहां पर शुरू से मिलजुल कर रहते हैं। हमेशा हंसी-खुशी से त्योहार मनाते हैं।
‘श्रद्धानिधि’ स्वीकार करें
अयोध्या में राम मंदिर निर्माण में जनभागीदारी सुनिश्चित करने के लिए वि ¨हदू परिषद (विहिप) एवं साधु समाज ने दस रुपए की ‘श्रद्धानिधि’ स्वीकार करने का सुझाव श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट को दिया है। सूत्रों ने कहा यह श्रद्धानिधि दस रुपए के विशेष नोट या टिकट के रूप में हो सकती है ताकि इसे यादगार के तौर पर सहेजा जा सके।
51, 51 हजार जलाए जाएंगे दीये
अयोध्या (वार्ता)। अयोध्या में पांच अगस्त को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के भूमि पूजन के समय पूरे अयोध्या में दीपोत्सव का आयोजन होगा। अयोध्या के नगर आयुक्त नीरज शुक्ल ने आज कहा कि नगर निगम की ओर से चार और पांच अगस्त को 51, 51 हजार दीये जलाये जायेंगे। नगर निगम हर घर को 21, 21 दीये देगा ताकि लोग अपने घरों में दिवाली मना सकें। दीयों के साथ तेल और बाती भी दी जायेगी।
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