Temple Wall Collapse: आंध्र प्रदेश में मंदिर में दीवार गिरी, 7 श्रद्धालुओं की मौत; PM मोदी और CM चंद्रबाबू ने जताया दुख, मुआवजे का ऐलान
आंध्र प्रदेश के विशाखापत्तनम में बुधवार सुबह सिम्हाचलम में श्री वराह लक्ष्मी नरसिंह स्वामी मंदिर में दीवार गिरने से सात लोगों की मौत हो गई और कई अन्य घायल हो गए। सरकार ने यह जानकारी दी।
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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आंध्र प्रदेश के लक्ष्मी नरसिंह स्वामी मंदिर में हुए हादसे पर दुख जताया। उन्होंने हादसे में मारे गए लोगों के प्रति संवेदना व्यक्त की। साथ ही मृतक और घायलों के लिए मुआवजे की भी घोषणा की।
प्रधानमंत्री कार्यालय ने पीएम मोदी के बयान के हवाले से बुधवार को एक्स पर एक पोस्ट शेयर कर लिखा, "आंध्र प्रदेश के विशाखापत्तनम में दीवार गिरने से हुई मौतों से बहुत दुखी हूं। जिन लोगों ने अपने प्रियजनों को खो दिया है, उनके प्रति संवेदना। घायलों के जल्द स्वस्थ होने की कामना करता हूं। प्रत्येक मृतक के परिजनों को प्रधानमंत्री राष्ट्रीय राहत कोष (पीएमएनआरएफ) से 2 लाख रुपए की अनुग्रह राशि दी जाएगी। इसके अलावा घायलों को 50 हजार रुपए दिए जाएंगे।"
इससे पहले आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने लक्ष्मी नरसिंह स्वामी मंदिर में दीवार गिरने से तीन महिलाओं समेत 8 श्रद्धालुओं की मौत पर दुख जताया था। साथ ही उन्होंने इस घटना में मारे गए लोगों के परिवारों के प्रति संवेदनाएं व्यक्त की।
चंद्रबाबू नायडू ने घटना पर शोक व्यक्त किया और कहा कि उन्होंने इस संबंध में जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक से बात की है। उन्होंने कहा कि घायलों का इलाज किया जा रहा है।
नायडू ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘सिम्हाचलम में सात श्रद्धालुओं की मौत से बेहद दुखी हूं.... परिवारों के प्रति मेरी संवेदनाएं। मैं हालात पर करीब से नजर रख रहा हूं और पीड़ितों को तत्काल सहायता दिए जाने और हालात पर नजर बनाए रखने का आदेश दिया है।’’
तेलंगाना के मुख्यमंत्री ए रेवंत रेड्डी ने भी मंदिर की दीवार गिरने से श्रद्धालुओं के मारे जाने की घटना पर शोक व्यक्त किया है।
राज्य की गृह मंत्री वी अनीता ने कहा कि प्रारंभिक रिपोर्टों से संकेत मिलता है कि इलाके में भारी बारिश के कारण मिट्टी धंस गई जिससे दीवार गिर गई।
सिम्हागिरि बस स्टैंड से घाट रोड पर शॉपिंग कॉम्प्लेक्स के पास टिकट खरीदने के लिए लगी लोगों की कतार पर यह दीवार गिर गिरी।
राज्य की गृह मंत्री अनीता ने संवाददाताओं को बताया कि रात भर तेज हवाएं चलने और भारी बारिश के कारण मिट्टी धंस गई, जिससे दीवार गिर गई। जिस वक्त यह घटना हुई उस वक्त अनीता मंदिर में मौजूद थीं और जानकारी मिलने पर वह तत्काल घटनास्थल पहुंचीं।
उन्होंने कहा, ‘‘हम सभी बारिश में भीग गए थे। जैसे ही मैं मंदिर से बाहर आई, मुझे घटना की जानकारी दी गई। घायलों को अस्पताल ले जाया गया।’’
राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (एनडीआरएफ) और राज्य अधिकारियों की टीम बचाव अभियान संचालित कर रही हैं।
राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल (एसडीआरएफ) के कर्मियों के अनुसार आठ श्रद्धालु मलबे में फंसे हुए थे, बचाव अभियान के दौरान सात शव निकाले गए जिनमें तीन शव महिलाओं के और चार शव पुरुषों के हैं।
अधिकारियों ने बताया कि घायलों को अस्पताल पहुंचाया गया है।
बुधवार को शुरू होने वाले वार्षिक उत्सव चंदनोत्सवम के दौरान दर्शन के लिए टिकट खरीदने के लिए कतार में खड़े श्रद्धालुओं पर दीवार गिर गई। राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (एनडीआरएफ) के जवान मौके पर पहुंचे और पुलिस तथा अन्य विभागों की मदद से बचाव अभियान शुरू किया। अधिकारियों ने बताया कि मलबे से आठ शवों को निकाला गया और किंग जॉर्ज अस्पताल ले जाया गया। मृतकों में पांच पुरुष और तीन महिलाएं शामिल हैं। घायलों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
इसके अलावा, पूर्व मुख्यमंत्री और वाईएसआर कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष वाईएस जगन मोहन रेड्डी ने श्रद्धालुओं की दुखद मौत पर गहरा दुख और शोक व्यक्त किया। इसे हृदय विदारक घटना बताते हुए उन्होंने कहा कि यह बेहद दुखद है कि भगवान के दिव्य स्वरूप के दर्शन करने आए श्रद्धालुओं को इस तरह दुखद तरीके से अपनी जान गंवानी पड़ी।
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