पीटी उषा बनेंगी आईओए की पहली महिला अध्यक्ष
महान धाविका पीटी उषा शनिवार को भारतीय ओलंपिक संघ के चुनाव में आधिकारिक रूप से पहली महिला अध्यक्ष बन जाएंगी जिससे देश में खेल प्रशासन में नए अध्याय की शुरुआत होगी।
![]() महान धाविका पीटी उषा |
वह आईओए के 95 वर्ष के इतिहास में अध्यक्ष पद पर काबिज होने वाली पहली ओलंपियन और अंतरराष्ट्रीय पदक विजेता होंगी। बाईस साल पहले खेल को अलविदा कहने से पहले वह ट्रैक और फील्ड में भारत के लिए अनगिनत पदक जीत चुकी हैं
एशियाई खेलों की स्वर्ण पदक विजेता और लॉस एंजिलिस ओलंपिक 1984 में चौथे स्थान पर रही उषा आईओए अध्यक्ष पद के लिए निर्विरोध चुनी जाएगी। चुनाव उच्चतम न्यायालय द्वारा नियुक्त न्यायाधीश (सेवानिवृत) एल. नागेर राव की निगरानी में हो रहे हैं। उषा के अध्यक्ष बनने के साथ ही गुटबाजी के शिकार आईओए में संकट का भी अंत हो जाएगा। अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति ने चेताया था कि अगर चुनाव इस महीने नहीं कराए गए तो आईओए को निलंबित किया जा सकता है।
‘पायोली एक्सप्रेस’ के नाम से मशहूर उषा को सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी का उम्मीदवार माना जा रहा है जिसने उन्हें जुलाई में राज्यसभा सदस्य नामित किया था।
एशियाई खेल 1982 से 1994 के बीच में चार स्वर्ण समेत 11 पदक जीत चुकी उषा ने 1986 सियोल एशियाई खेलों में 200 मीटर, 400 मीटर, 400 मीटर बाधा दौड़ और चार गुणा 400 मीटर रिले में स्वर्ण और 100 मीटर में रजत पदक जीते थे। दिल्ली एशियाई खेल 1982 में उन्होंने 100 मीटर और 200 मीटर में पदक जीते थे। इसके अलावा उन्होंने एशियाई चैंपियनशिप में 14 स्वर्ण समेत 23 पदक जीते हैं।
वह लॉस एंजिलिस ओलंपिक 1984 में 400 मीटर बाधा दौड़ फाइनल में रोमानिया की क्रिस्टीना कोजोकारू से एक सेकेंड के सौंवे हिस्से के अंतर से कांस्य पदक हार गई थी। उषा महाराजा याद¨वद्र सिंह के बाद आईओए अध्यक्ष बनने वाली पहली खिलाड़ी होंगी जिसने देश का प्रतिनिधित्व किया है। याद¨वद्र सिंह ने 1934 में टेस्ट मैच खेला था जो 1938 से 1960 के बीच आईओए अध्यक्ष रहे।
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