भारतीय पारिवारिक व्यवस्था श्रेष्ठ : मोहन भागवत

Last Updated 20 Feb 2023 11:43:31 AM IST

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ प्रमुख मोहन भागवत ने भारतीय पारिवारिक व्यवस्था को श्रेष्ठ बताते हुए कहा है कि परिवारों में एकता और राष्ट्रीयता की भावना जाग्रत होने पर राष्ट्र शक्तिशाली बनेगा। बरेली के महात्मा ज्योतिबा फुले रूहेलखण्ड विश्वविद्यालय के अटल सभागार में रविवार को आयोजित कार्यकर्ता परिवार मिलन कार्यक्रम में भागवत ने कहा, ‘भारतीय पारिवारिक व्यवस्था श्रेष्ठ है।


राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ प्रमुख मोहन भागवत

परिवारों में एकता और राष्ट्रीयता की भावना जागने पर ही देश ताकतवर बनेगा।’ उन्होंने कहा कि समाज को सुसंस्कृत, चरित्रवान, राष्ट्र के प्रति समर्पित और अनुशासित बनाने में परिवार की महत्वपूर्ण भूमिका है, इसलिए संघ का प्रयास है कि स्वयंसेवकों के परिवारों को भारतीय संस्कृति की मूल अवधारणाओं से जोड़कर समाज को सशक्त बनाया जाए। उन्होंने कहा कि लोगों को अपनी परम्पराओं और संस्कृति से जुड़े रहने के लिए अपनी मूल भाषा, वेशभूषा, भजन, भवन, भ्रमण और भोजन को अपनाना होगा।

भागवत ने कहा कि विगत लगभग 100 वर्षों में संघ का काफी विस्तार हुआ है। उन्होंने कहा कि संघ की विचारधारा से प्रभावित होकर देश के लोग अब इस संगठन की ओर उम्मीद भरी नजरों से देखने लगे हैं। उन्होंने कहा कि संघ की समाज में छवि स्वयंसेवकों के आचरण से ही बनी है।

संघ प्रमुख ने कहा कि स्वयंसेवकों का आचरण जितना अच्छा होगा, संघ की छवि भी उतनी ही अच्छी बनेगी। उन्होंने कहा कि स्वयंसेवकों को सप्ताह में कम से कम एक दिन अपने परिवार और मित्र परिवारों के साथ बैठकर भोजन करने के अलावा राष्ट्र और सांस्कृतिक विरासत से जुड़े विषयों पर चर्चा अवश्य करनी चाहिए।

उन्होंने कहा कि स्वयंसेवकों के परिवारों को विभिन्न जातियों, पंथ, भाषाओं और क्षेत्रों के परिवारों के साथ मित्रवत संबंध बनाकर उनके साथ नियमित रूप से मिलन, भोजन और चर्चा के कार्यक्रम करने चाहिए। उन्होंने कहा कि सक्षम, सम्पन्न और वंचित परिवारों के बीच परस्पर सहयोग होने पर कई सामाजिक और आर्थिक समस्याओं का स्वत: निराकरण हो जाएगा।

भागवत ने कहा, ‘स्वयंसेवक परिवारों के जीवन का मंत्र देशार्चण (देश की अर्चना), सद्भाव, ऋणमोचन और अनुशासन होना चाहिए। अनुशासन के बिना कोई भी राष्ट्र और समाज प्रगति नहीं कर सकता। अगर हमें अपने राष्ट्र को एक बार फिर विगुरु के रूप में स्थापित करना है, तो हमारे जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में अनुशासन का प्रकटीकरण करना चाहिए।’

भारत की बढ़ती जनसंख्या की तुलना में टिक-टिक करते ‘टाइम बम’ से की

विश्व हिंदू परिषद (विहिप) के पूर्व नेता प्रवीण तोगड़िया ने रविवार को भारत की बढ़ती आबादी की तुलना टिक-टिक करते ‘टाइम बम’ से की और इसके विस्फोट तथा विपरीत प्रभाव को रोकने के लिए एक कानून बनाने की जरूरत पर जोर दिया।

उन्होंने उम्मीद जताई कि अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह जनसंख्या नियंत्रण और समान नागरिक संहिता के लिए एक कानून लाएंगे।

अंतरराष्ट्रीय हिंदू परिषद के अध्यक्ष तोगड़िया राज्य के महासमुंद जिले के बसना इलाके में एक जनसभा को संबोधित करने से पहले छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में संवाददाताओं से बातचीत कर रहे थे।

जनसंख्या नियंत्रण कानून लाने की मांग के बारे में पूछे जाने पर तोगड़िया ने कहा, ‘बढ़ती जनसंख्या और जनसंख्या असंतुलन एक टाइम बम है और जब यह फटेगा तो यह शहरों और गांवों में गृह युद्ध की ओर ले जायेगा।

भाषा
बरेली/रायपुर


Post You May Like..!!

Latest News

Entertainment