महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने शुक्रवार को राहुल गांधी पर ‘अर्बन नक्सली’ की तरह बयान देने का आरोप लगाया और दावा किया कि कांग्रेस नेता ने ‘जेन-जेड’ को लोकतांत्रिक तरीके से चुनी गई सरकार को उखाड़ फेंकने को कहा।

|
‘जेन-जेड’ वे युवा हैं जिनका जन्म 1997 से 2012 के बीच हुआ है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राहुल गांधी न तो संविधान में विश्वास करते हैं और न ही लोकतांत्रिक संस्थाओं को स्वीकार करते हैं। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि राहुल गांधी के सलाहकारों की सोच भी ‘अर्बन नक्सली’’ जैसी है।
उनकी यह टिप्पणी गांधी द्वारा देश के निर्वाचन आयोग पर नए सिरे से हमला करने और ‘‘वोट चोरी’’ के आरोपों को दोहराने के एक दिन बाद आई है।
लोकसभा में विपक्ष के नेता ने बृहस्पतिवार शाम को पोस्ट कर कहा, ‘‘देश के युवा, देश के छात्र, देश के ‘जेन-जेड’ संविधान को बचाएंगे, लोकतंत्र की रक्षा करेंगे और वोट चोरी को रोकेंगे। मैं उनके साथ हमेशा खड़ा हूं। जय हिंद!’’
जब पत्रकारों ने कांग्रेस नेता के इस पोस्ट पर फडणवीस की प्रतिक्रिया मांगी तो मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया, ‘‘गांधी ने ‘जेन-जेड’ से अपील की है कि वे एक साथ आकर लोकतांत्रिक तरीके से चुनी गई सरकार को उखाड़ फेंकें... यह ‘वोट चोरी’ नहीं है, बल्कि राहुल गांधी के दिमाग की चोरी हो गयी है। उन्हें न तो संविधान पर भरोसा है और न ही वे संस्थाओं को मानते हैं। उन्होंने जिस तरह से कहा कि ‘जेन-जेड’ को एकजुट होकर चुनी हुई सरकार को गिराना चाहिए, वह ‘अर्बन नक्सली’ जैसी भाषा है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘गांधी के सलाहकारों की मानसिकता ‘अर्बन नक्सली’ जैसी है। लेकिन भारत के ‘जेन-जेड’ संविधान में विश्वास रखते हैं। इसी ‘जेन-जेड’ ने स्टार्टअप ‘इकोसिस्टम’ की शुरुआत की है और प्रौद्योगिकी को समझती है। राहुल गांधी न तो ‘जेन-जेड’ को समझते हैं, न ही देश के युवाओं को और न ही बुजुर्गों को।’’
| | |
 |