हनुमान जयंती: High Court ने ममता सरकार को दिए सख्‍त निर्देश, कहा- पुलिस न संभाल सके तो तैनात करें पैरा मिलिट्री

Last Updated 05 Apr 2023 04:24:07 PM IST

पश्चिम बंगाल में रामनवमी पर शोभायात्रा के दौरान हिंसा के बाद ममता बनर्जी सरकार सवालों के घेरे में है। इस बीच कलकत्ता हाई कोर्ट ने इस मामले पर अहम निर्देश जारी किए हैं।


हिंसा तीन जिलों में 30 मार्च को भड़की थी और तीन अप्रैल की रात तक जारी रही थी।

कलकत्ता हाईकोर्ट के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश टी.एस. शिवगणनम और न्यायमूर्ति हिरण्मय भट्टाचार्य की पीठ ने राज्य सरकार को राज्य में संवेदनशील इलाकों की पहचान करने और वहां केंद्रीय सशस्त्र बलों की मदद लेने का निर्देश दिया।

साथ ही संभाग ने राज्य पुलिस को यह भी निर्देश दिया कि बुधवार की रात से उन पॉकेट्स में केवल एरिया डोमिनेशन के उद्देश्य से रूट मार्च निकाला जाए। न्यायमूर्ति शिवगणनम ने कहा, मामले को देखते हुए यह स्पष्ट है कि राज्य पुलिस अकेले मामलों का प्रबंधन नहीं कर सकती है।

रामनवमी के जुलूसों पर हिंसा के संभावित प्रकोप के बारे में कोई पूर्व सूचना नहीं होने के कारण राज्य पुलिस की खुफिया शाखा को भी खंडपीठ की आलोचना का सामना करना पड़ा।

अदालत ने कहा कि हाल के दिनों में हिंसा की घटनाओं के बीच उस क्षेत्र में किसी भी जुलूस की अनुमति नहीं दी जाएगी जहां धारा 144 लागू की गई है।

खंडपीठ ने यह भी सुझाव दिया कि क्या हनुमान जयंती के अवसर पर जुलूस उन क्षेत्रों के माध्यम से किया जा सकता है जो महाराष्ट्र में गणेश चतुर्थी के जुलूस के मामले में किया जाता है।

इस मामले पर राज्य सरकार के वकील ने कोर्ट को बताया कि हालांकि राज्य के सभी कोनों में सभी जुलूसों के लिए बैरिकेड्स लगाना संभव नहीं होगा, संवेदनशील क्षेत्रों के मामले में भी ऐसा ही किया जाएगा।

राज्य सरकार के वकील ने अदालत को यह भी बताया कि पुलिस उन जुलूसों के आयोजकों के खिलाफ कार्रवाई करेगी जो लगाए गए प्रतिबंधों की धज्जियां उड़ाएंगे। आयोजकों को संबंधित जुलूस में अनुमानित भीड़ के बारे में भी पुलिस को सूचित करना होगा और आयोजकों को इसके लिए दी गई समय सीमा पर भी मौजूद रहना होगा।

आईएएनएस
कोलकाता


Post You May Like..!!

Latest News

Entertainment