दिल्ली जेल विभाग के 82 अधिकारियों की जांच होगी
दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना ने ठग सुकेश चंद्रशेखर द्वारा रोहिणी जेल से चलाए जा रहे संगठित अपराध गिरोह में दिल्ली जेल विभाग के 82 अधिकारियों की भूमिका की जांच के लिए पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा (ईओडब्ल्यू) को अनुमति दे दी है। सूत्रों ने बुधवार को यह जानकारी दी।
![]() दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना |
उपराज्यपाल कार्यालय सूत्रों के अनुसार, उपराज्यपाल ने यह भी गौर किया है कि जेल विभाग वर्तमान में जेल में बंद आम आदमी पार्टी (आप) नेता और मंत्री सत्येंद्र जैन के अधीन था तथा उस दौरान ‘कैदियों से मोबाइल फोन जब्त किए जाने सहित कई गंभीर विवाद’ हुए।
इसके बाद हाल ही में विभिन्न जेल परिसरों में और आसपास ‘जै¨मग’ उपकरण लगाए गए। एक सूत्र ने कहा, इसी प्रकार जेलों में भीड़भाड़, कैदियों के बीच हिंसक झड़प और पैरोल के बाद वापस नहीं आने वाले कैदियों ने विभाग को संकट में डाल दिया है। यह मामला जेल अधिकारियों की मिलीभगत से चंद्रशेखर द्वारा 200 करोड़ रुपये की जबरन वसूली से संबंधित है।’ घटना के समय चंद्रशेखर को रोहिणी जेल की जेल संख्या 10 में रखा गया था।
ईओडब्ल्यू ने बताया था कि मामले में जांच के दौरान आरोपी द्वारा चलाए जा रहे गिरोह को मदद पहुंचाने के आरोप में सात अधिकारियों को पहले ही गिर राजधानी क्षेत्र में शनिवार को वायु गुणवत्ता ‘बहुत खराब’ रहने की आशंका के बीच, वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग ने प्राधिकारियों को ‘ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान’ (जीआरएपी) का दूसरा चरण लागू करने का बुधवार को निर्देश दिया, जिसके बात होटल, रेस्तरां और खुले भोजनालयों में कोयला और एवं लकड़ियों में आग जलाने पर प्रतिबंध रहेगा।
जीआरएपी के दूसरे चरण के तहत आवश्यक सेवाओं को छोड़कर डीजल जनरेटर का इस्तेमाल भी प्रतिबंधित है। जीआरएपी राजधानी और उसके आस-पास के क्षेत्रों में वायु प्रदूषण को काबू करने के लिए स्थिति की गंभीरता के अनुसार उठाए जाने वाले कदमों से जुड़ी योजना है।
एक्यूआई के 201 से 300 के बीच यानी ‘खराब’ श्रेणी में होने पर प्रथम चरण लागू किया जाता है। वहीं, एक्यूआई के 301 से 400 के बीच यानी ‘बहुत खराब’ श्रेणी में होने पर दूसरा चरण, 401 से 450 के बीच ‘गंभीर’ श्रेणी में होने पर तीसरा चरण और 450 से अधिक यानी ‘अत्यधिक गंभीर’ श्रेणी में होने पर चौथा चरण लागू किया जाता है।
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