सतत विकास लक्ष्यों पर मिलकर काम करेंगे भारत और नॉर्वे
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और नॉर्वे की उनकी समकक्ष एर्ना सोलबर्ग के बीच मंगलवार को हुई प्रतिनिधिमंडल स्तर की बातचीत के बाद भारत और नॉर्वे समुद्री अर्थव्यवस्था और संयुक्त राष्ट्र सतत विकास लक्ष्यों (एसडीजी) पर साथ काम करने के लिए सहमत हुए।
राष्ट्रपति भवन में मंगलवार को नाव्रे की प्रधानमंत्री एर्ना सोल्बर्ग के स्वागत समारोह के दौरान उनसे हाथ मिलाते प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी। |
सोलबर्ग के साथ बैठक के बाद मोदी ने एक संयुक्त संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘सतत विकास लक्ष्य भारत के वृद्धि लक्ष्यों से मेल खाते हैं।’ उन्होंने कहा, ‘और यह हमारे लिए खुशी का विषय है कि दोनों देश मां और बच्चे के स्वास्थ्य के मुद्दे पर नॉर्वे-भारत साझेदारी पहल के साथ सहयोग कर रहे हैं।’ उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री सोलबर्ग ने एसडीजी को हासिल करने के वैश्विक प्रयासों में काफी योगदान दिया है। मोदी ने भारत के लिए समुद्री अर्थव्यवस्था की महत्ता पर भी जोर दिया।
उन्होंने कहा कि भारत की 15 फीसद आबादी तटीय इलाकों में रहती है, और नॉर्वे के पास समुद्री अर्थव्यवस्था को काम में लाने का भरपूर अनुभव है। भारत और नॉर्वे ने वार्ता के बाद द्विपक्षीय समुद्री संवाद के लिए एक नए समझौते पर हस्ताक्षर किए। मोदी ने यह भी कहा कि भारत और नॉर्वे के अंतरराष्ट्रीय मंचों पर मजबूत संबंध हैं। उन्होंने कहा, ‘हम संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद सुधारों, बहुपक्षीय निर्यात नियंत्रण और आतंकवाद से लड़ाई जैसे मुद्दों पर करीबी सहयोग और समन्वय के साथ काम कर रहे हैं।’
वहीं, सोलबर्ग ने कहा कि अगर भारत साथ नहीं होगा तो दुनिया सतत विकास लक्ष्यों को हासिल करने में सक्षम नहीं होगी। महिला सशक्तीकरण में अपनी व्यक्तिगत रुचि दिखाते हुए उन्होंने कहा कि भारत इस क्षेत्र में बहुत मेहनत से काम कर रहा है। सोलबर्ग ने कहा कि भारत और नॉर्वे समुद्री अर्थव्यवस्था में सहयोग बढ़ाने पर सहमत हुए हैं। उन्होंने कहा, ‘इससे अधिक नौकरियां और अधिक दवाएं तैयार होंगी।’ इससे पहले सोलबर्ग का राष्ट्रपति भवन में पारंपरिक स्वागत किया गया।
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