Video: गुजरात राज्यसभा चुनाव- 8 कांग्रेसी विधायकों की क्रॉस वोटिंग, शत प्रतिशत मतदान
राज्यसभा की तीन सीटों के लिए आज मतदान के दौरान आशंका के अनुरूप खुलेआम क्रॉस वोटिंग हुई तथा बेंगलुरू के रिसार्ट में एक साथ रखे गये 44 में से एक पार्टी विधायक ने समेत कुल आठ पार्टी विधायकों ने भाजपा के लिए मतदान कर दिया .
![]() गुजरात राज्यसभा वोटिंग जारी |
प्रधानमंत्री नरेंन्द्र मोदी के गृह राज्य गुजरात में जबरदस्त राजनीतिक गहमागहमी के बीच सत्तारूढ भाजपा और मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस के लिए प्रतिष्ठा का बडा प्रश्न बन गयी राज्यसभा की तीन सीटों के लिए आज मतदान के दौरान आशंका के अनुरूप खुलेआम क्रॉस वोटिंग हुई तथा बेंगलुरू के रिसार्ट में एक साथ रखे गये 44 में से एक पार्टी विधायक ने समेत कुल आठ पार्टी विधायकों ने भाजपा के लिए मतदान कर दिया जबकि एक एक मत के महत्व वाले इस चुनाव के नतीजों के कानूनी दांवपेंच में फंसने की संभावना के बीच कांग्रेस ने अपने दो विधायकों के वोट खारिज करने के लिए चुनाव आयोग को अर्जी देने की बात कही है.
सुबह नौ बजे शुरू हुआ मतदान नियत समय चार बजे तक चलना था पर 182 सदस्यीय विधानसभा के छह कांग्रेसी विधायकों के इस्तीफे के बाद बाकी बचे 176 विधायकों ने दो बजे तक ही मतदान पूरा कर लिया. इसमें सभी विधायकों के मतदान करने से शत प्रतिशत मतदान हुआ है. मतगणना आज ही शाम पांच बजे के बाद होगी. पूर्व में सर्वसम्मति से चयन के चलते 1996 के बाद पहली बार राज्य में राज्यसभा के चुनाव कराने की जरूरत पडी है.
बेंगलुरू जाने वाले 44 कांग्रेस विधायकों में से एक अन्य बाढग्रस्त बनासकांठा जिले के सर्वाधिक असरग्रस्त कांकरेज के कांग्रेस विधायक धारसी खानपुरा के हाथ में तकलीफ के चलते प्रॉक्सी वोटिंग की इजाजत को अस्वीकार किये जाने के बाद उन्होंने कथित तौर पर सीधे मतदान किया. भाजपा ने उनकी मांग का तकनीकी आधार पर विरोध किया था कि इसके लिए तीन दिन पहले नोटिस दी जानी चाहिए थी.
पल पल मोड बदल रहे इस चुनाव में कांग्रेस के एक साथ रखे गये 44 विधायकों में से एक साणंद के करमसिंह पटेल ने क्रॉस वोटिंग कर भाजपा को मतदान किया जिसके चलते कांग्रेस के पोलिंग एजेंट शक्तिसिंह गोहिल के साथ उनकी कहासुनी भी हुई. बताया जा रहा है कि उन्होंने उन्हें गद्दार तक करार दिया.
कांग्रेस प्रत्याशी अहमद पटेल ने 44 में से एक के क्रॉस वोटिंग करने की बात स्वीकार की. उन्होंने कथित तौर पर उन्हें वोट देने वाले जदयू के इकलौते विधायक छोटू वसावा से मिल कर आभार जताया. हालांकि वसावा के मतदान को लेकर अब भी संशय बरकारार है. उन्होंने अपने जीत का विश्वास जताया पर मतगणना तक इंतजार करने की भी बात कही.
कांग्रेस के प्रदेश प्रभारी तथा राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गेहलोत ने पटेल की जीत पक्की बतायी तथा कहा कि भाजपा प्रत्याशियों को अपने मत दिखाने वाले दो विधायकों के मत रद्द करने की मांग आयोग से की जाएगी. उन्होंने कहा कि कुल आठ क्रॉस वोटिंग कांग्रेस की तरफ से हुई है. व्हिप का उल्लंघन करने वालों को निलंबित किया जाएगा. ज्ञातव्य है कि राष्ट्रपति चुनाव में भी कांग्रेस के कई विधायकों ने क्रॉस वोटिंग की थी.
यह चुनाव भाजपा की स्मृति ईरानी (केंद्रीय मंत्री) तथा दिलीप पंडया और कांग्रेस के अहमद पटेल (सोनिया गांधी के राजनीतिक सचिव) के कार्यकाल पूरा होने (18 अगस्त तक) के नजदीक पहुंचने के कारण हो रहे हैं. भाजपा ने अपने अध्यक्ष अमित शाह तथा ईरानी और कांग्रेस छोड कर भाजपा में आये बलवंतसिंह राजपूत के रूप में तीन उम्मीदवार उतारे हैं जबकि कांग्रेस के एकमा उम्मीदवार के तौर पर सोनिया गांधी के राजनीतिक सचिव अहमद पटेल मैदान में हैं. जो जीतने पर पांचवी बार संसद के उच्च सदन के सदस्य बन सकते हैं.
शाह और ईरानी की जीत लगभग पक्की है. तीसरी सीट के लिए राजपूत और पटेल के बीच मुकाबला माना जा रहा है. वर्तमान में भाजपा के 122 (एक बागी नलिन कोटडिया समेत), कांग्रेस के 51 (वाघेला और उनके गुट के छह अन्य समेत), राकांपा के दो और जदयू का एक विधायक है.
प्रथम वरीयता के 45 वोट मिलने पर जीत सुनिश्चत है. आज मतदान के दौरान राकांपा दो फाड हो गयी है जिसके एक विधायक ने कथित तौर पर भाजपा तथा एक ने कांग्रेस को वोट दिया है. कांग्रेस में दो और के क्रॉस वोटिंग की आशंका जतायी जा रही है.
उधर मुख्यमंत्री विजय रूपाणी समेत भाजपा के सभी नेताओं ने तीनों सीटे जीतने का विास व्यक्त किया है. वाघेला ने भी कांग्रेस के खिलाफ मतदान करने की बात स्वीकार करते हुए ऐसी ही संभावना व्यक्त की है. बागी कोटडिया के भी भाजपा का समर्थन करने की संभावना है.
इससे पहले गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री शंकरसिंह वाघेला ने कहा कि उन्होंने राज्यसभा चुनाव में अपना वोट कांग्रेस को नहीं दिया है. उन्होंने कहा कि कांग्रेस के उम्मीदवार अहमद पटेल जीत ही नहीं रहे तो उन्हें वोट देने का कोई मतलब नहीं था.
शुरूआत में ही मतदान करने वाले शंकरसिंह वाघेला ने साफ कहा कि उन्होंने कांग्रेस को वोट नहीं दिया है. पर उन्होंने यह नहीं बताया कि उन्होंने नोटा चुना है अथवा बीजेपी को. उनके समर्थक कांग्रेस विधायक राघवजी पटेल ने भाजपा के तीसरे प्रत्याशी को वोट देने की बात कही. उन्होंने कहा कि वह कांग्रेस छोड कर भाजपा में शामिल हो जायेंगे.
उन्होंने कहा कि उन्होंने अपनी पुरानी पार्टी कांग्रेस को बहुत समझाया था. और 21 जुलाई को अपने जन्मदिन पर इसे मुक्त भी कर दिया था. भाजपा के तीनो उम्मीदवार जीतेंगे. मैने अपना वोट अपने अजीज अहमद भाई को नहीं दिया है. इसका मुझे अफसोस है क्योंकि उनके समर्थन में 40 भी विधायक नहीं है. जो 44 लोग उनके साथ थे उनमें भी चार पांच उन्हे मतदान नहीं करने वाले.
उन्होंने कहा कि कांग्रेस को पटेल जैसे बडे नेता की प्रतिष्ठा के साथ मजाक नहीं करना चाहिए था. जब पार्टी के विधायक जा रहे थे तो उन्हें चुनाव मैदान में नहीं उतारना चाहिए.
हालांकि वाघेला ने यह नहीं बताया कि उन्होंने किसे मतदान किया है. पर माना जा रहा है कि उन्होंने अपने रिश्तेदार और भाजपा के तीसरे प्रत्याशी बलवंत सिंह राजपूत को वोट दिया होगा. उनके समर्थक कांग्रेस विधायक राघवजी पटेल ने खुलेआम क्रास वोटिंग करने की बात कही तथा अंतरात्मा की आवाज पर भाजपा को वोट देने का दावा किया. कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष अर्जुन मोढवाडिया ने बाद में आरोप लगाया कि पटेल तथा एक अन्य कांग्रेस विधायक भोला गोहिल ने अपने वोट भाजपा प्रत्याशियों को दिखाये.
मौजूदा विधानसभा में मरम्मत कार्य के कारण मतदान स्थल यहां सरकार के मुख्य प्रशासनिक परिसर स्वर्णिम संकुल दो में बनाया गया है. विधानसभा के सचिव तथा रिटर्निंग ऑफिसर डी एम पटेल ने बताया कि मतदान शाम चार बजे तक होगा. मतगणना पांच बजे से होगी. इसके लिए सुरक्षा के कडे प्रबंध किये गये हैं.
कांग्रेस के छह विधायकों के इस्तीफे के बाद 182 सदस्यीय विधानसभा में अब कुल 176 विधायक और इतने ही मतदाता हैं. यह चुनाव ओपन बैलेट और वरीयता प्रणाली से हो रहा है. परिणाम शाम साढे सात तक आ जाने की उम्मीद है.
यह चुनाव भाजपा की स्मृति ईरानी (केंद्रीय मंत्री) तथा दिलीप पंडया और कांग्रेस के अहमद पटेल (सोनिया गांधी के राजनीतिक सचिव) के कार्यकाल पूरा होने के कारण हो रहे हैं. चुनाव में भाजपा की ओर से इसके अध्यक्ष अमित शाह तथा ईरानी और कांग्रेस छोड कर भाजपा में आये बलवंतसिंह राजपूत तीन उम्मीदवार हैं जबकि कांग्रेस के एकमात्र उम्मीदवार के तौर पर सोनिया गांधी के राजनीतिक सचिव अहमद पटेल मैदान में हैं. जो जीतने पर पांचवी बार संसद के उच्च सदन के सदस्य बन सकते हैं. चारो प्रत्याशी सुबह ही मतदान स्थल पर पहुच गये हैं.
27 और 28 जुलाई को कांग्रेस के 57 में से 6 विधायकों के इस्तीफे के बाद इनमें से तीन भाजपा में शामिल हो गये थे जिनमें से एक राजपूत भी हैं. इसके बाद ही कांग्रेस ने सत्तारूढ भाजपा पर हर तरह के दबाव के जरिये इसके विधायकों की खरादफरोख्त के प्रयास का आरोप लगाते हुए 44 विधायकों को बेंगलोर भेज दिया था. हालांकि ये विधायक कल सुबह लौट आये और उन्हें मध्य गुजरात के एक रिसार्ट में रखा गया है. वे वहीं से एक साथ वोट देने के लिए आज गांधीनगर आयेंगे.
182 सदस्यीय विधानसभा में भाजपा के एक बागी समेत 122, कांग्रेस के 51 (बागी शंकरसिंह वाघेला, जो भाजपा प्रत्याशी राजपूत के निकट रिश्तेदार हैं तथा उनके छह समर्थकों समेत) तथा राकांपा के दो और जदयू का एक विधायक है. शाह और ईरानी की जीत लगभग पक्की है. राजपूत तथा पटेल के बीच मुकाबला है. पटेल ने जीत के लिए जरूरी 45 का आंकडा होने का दावा किया है. राकांपा के दो विधायकों को भाजपा के राजपूत को वोट देने को कहा है.
गुजरात परिवर्तन पार्टी की टिकट पर चुने गये भाजपा (दल के विलय के चलते) के एक बागी नलिन कोटडिया, जिन्होंने राष्ट्रपति चुनाव में कांग्रेस की मीरा कुमार को वोट दिया था, के पटेल को समर्थन देने की संभावना थी पर उनके कल रात भाजपा के रािभोज में शामिल होने से ऐसा नहीं माना जा रहा . चुनाव में नोटा यानी उपरोक्त में से कोई नहीं का विकल्प होने से भी परिदृश्य रोचक हो गया है.
कांग्रेस ने पहले ही केवल पटेल को वोट देने तथा नोटा अथवा दूसरी, तीसरी वरियता का उपयोग नहीं करने के बारे में व्हिप जारी कर रखा है जबकि भाजपा ने भी आज अपने विधायकों की बैठक के बाद उन्हें मतदान के दौरान मौजूद रहने और पार्टी के उम्मीदवारों के पक्ष में मतदान के लिए व्हिप जारी किया है. शाह ने आज विधायकों के साथ एक बैठक भी की इसमें रणनीति तय की गयी.
पटेल का संकट
पटेल को जीतने के लिए 45 मत चाहिए. उनकी पार्टी के पास वर्तमान में 44 विधायकों का समर्थन प्राप्त है. इनमें से कोई भी अगर क्रॉस वोटिंग नहीं करता है या नोटा विकल्प का प्रयोग नहीं करता है, उस स्थिति में भी कांग्रेस को पटेल की जीत सुनिश्चित करने के लिए एक अतिरिक्त मत की जरूरत होगी. कांग्रेस एनसीपी के दो विधायकों और जदयू एवं गुजरात परिवर्तन पार्टी के एक-एक विधायक के समर्थन की उम्मीद कर रही है.
भाजपा का व्हिप
भाजपा ने भी अंतत: व्हिप जारी कर दिया. इसने भी मुख्य विपक्षी कांग्रेस की तरह अपने विधायकों के नोटा के विकल्प के इस्तेमाल पर रोक लगा दी है. भाजपा ने यह भी दावा किया है कि इसका व्हिप पार्टी के कथित बागी विधायक नलिन कोटडिया, जो इसमें विलय हुई गुजरात परिवर्तन पार्टी की टिकट पर पिछला चुनाव जीते थे, पर भी तकनीकी तौर पर लागू होता है. पार्टी के सचेतक पंकज देसाई ने बताया कि पार्टी ने अपने विधायकों को मतदान के लिए उपस्थित रहने, अपने तीन प्रत्याशियों को ही वोट देने और नोटा का इस्तेमाल नहीं करने के लिए व्हिप दिया है जो इसके सभी 122 विधायकों पर लागू होता है जिसमें तकनीकी तौर पर कोटाडिया भी शामिल हैं.
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