सेना का राजनीतिकरण नहीं करें-गहलोत

Last Updated 15 Apr 2019 03:14:23 PM IST

राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सैनिकों के पराक्रम को पूरे देश को गर्व बताते हुए कहा है कि देश में सत्तर साल में सेनाओं को राजनीति से अलग रखा गया, पर पहली बार चुनाव के लिए सेना का राजनीतिकरण करने का प्रयास किया जा रहा है।


राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (फाइल फोटो)

गहलोत आज यहां पत्रकारों से कहा कि कोई व्यक्ति सरकार की आलोचना कर दे तो उसे सीधा राष्ट्रद्रोही कहा जा रहा है जबकि एक राज्य के मुख्यमंत्री सीधे तौर पर देश की सेना को मोदी की सेना कह रहे हैं, उन पर कोई सवाल नहीं खड़े किए जा रहे हैं।
  
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को चाहिए कि पांच साल पहले जो वादे किए, उसके बारे में बात करें, वे उपलब्धियां बताएं कि जिनमें वह कामयाब रहे। घोषणा करना अलग बात होती है, घोषणा तो उन्होंने बहुत की है, मेक इन इंडिया, स्टार्टअप, डिजिटल इंडिया पता नहीं क्या-क्या कहा, उनका असर कितना हुआ है मोदी को यह बताना चाहिए।
   
उन्होंने कहा कि पार्टी के बागी एवं अन्य लोगों से बातचीत कर उन्हें एक मंच पर लाने का प्रयास किया जा रहा है उन्होंने सभी से अपील की कि अभी भी वक्त है लोकतंत्र को बचाने एकजुट होना चाहिए।

उन्होंने कहा कि जो कार्यकर्ता किसी कारण से पार्टी से निकाले गये है अगर वे लौट के कांग्रेस में आना चाहते हैं तो इसके लिए एक कमेटी का गठन किया जा चुका है और राष्ट्रीय महासचिव अविनाश पांडे इसे देख रहे हैं। 
  
चम्बल पेयजल योजना की चर्चा करते हुए गहलोत ने कहा कि इस योजना के जरिए भीलवाड़ा की पेयजल की समस्या दूर हुई है। उन्होंने कहा कि की राजस्थान में मिशन 25 को लेकर कांग्रेस पूरी तरह से तैयार है और जो भी दिक्कतें आ रही है उसे दूर किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि मोदी सरकार के शासन  में जो योजनाएं बाधित हुई है, कांग्रेस सत्ता में आती है तो उन्हें पूरा करेगी।

 

वार्ता
भीलवाड़ा


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