जम्मू-कश्मीर के किश्तवाड़ जिले में मचैल माता मंदिर के मार्ग पर एक दूरदराज के गांव में बृहस्पतिवार को बादल फटने से कम से कम 10 लोगों के मारे जाने की आशंका है। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।

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यह बादल चशोती में फटा जो मंदिर के मार्ग पर स्थित ऐसा अंतिम गांव है जहां किसी वाहन से पहुंचा जा सकता है।
अधिकारियों ने बताया कि इस घटना के बाद मंदिर की वार्षिक यात्रा स्थगित कर दी गई है तथा प्राधिकारी सभी संसाधन जुटाकर बड़े पैमाने पर बचाव एवं राहत अभियान चलाने के लिए घटनास्थल रवाना हो गए हैं।
उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने इस घटना में हुई जानमाल की हानि पर शोक व्यक्त किया।
उन्होंने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर लिखा, ‘‘किश्तवाड़ के चशोती में बादल फटने की घटना से व्यथित हूं। शोक संतप्त परिवारों के प्रति संवेदना और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की प्रार्थना करता हूं। असैन्य, पुलिस, सेना, एनडीआरएफ (राष्ट्रीय आपदा मोचन बल) और एसडीआरएफ (राज्य आपदा मोचन बल) अधिकारियों को बचाव एवं राहत अभियान को और तेज करने तथा प्रभावितों को हर संभव सहायता प्रदान करने के निर्देश दिए।’’
केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने बताया कि उन्होंने किश्तवाड़ के उपायुक्त पंकज कुमार शर्मा से इस संबंध में बात की है।
उन्होंने ‘एक्स’ पर लिखा, ‘‘चशोती क्षेत्र में बादल फटने की एक बड़ी घटना हुई है, जिससे भारी जनहानि होने की आशंका है। प्रशासन कार्रवाई में तुरंत जुट गया है और बचाव दल घटनास्थल के लिए रवाना हो गया है।’’
उन्होंने कहा कि क्षति का आकलन किया जा रहा है और आवश्यक बचाव एवं चिकित्सा प्रबंधन व्यवस्था की जा रही है।
अधिकारियों ने बताया कि किश्तवाड़ के उपायुक्त पंकज कुमार शर्मा और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक नरेश सिंह भी बचाव अभियान की निगरानी के लिए प्रभावित क्षेत्र के लिए रवाना हो गए हैं।
उन्होंने बताया कि पद्दार के उप-मंडल मजिस्ट्रेट के नेतृत्व में अधिकारियों की एक टीम घटनास्थल पर पहुंच गई है और बादल फटने की घटना में कम से कम 10 लोगों के मारे जाने की आशंका है।
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