शीर्ष मैतेई संस्था विधानसभा सत्र नहीं बुलाने पर Manipur सरकार का करेगी बहिष्कार

Last Updated 06 Aug 2023 09:08:02 PM IST

मैतेई समुदाय की शीर्ष संस्था मणिपुर इंटीग्रिटी पर समन्वय समिति (सीओसीओएमआई) ने रविवार को विधानसभा सत्र बुलाने में राज्य सरकार की देरी के विरोध में मणिपुर सरकार के अनिश्चितकालीन सामाजिक बहिष्कार की घोषणा की।


शीर्ष मैतेई संस्था विधानसभा सत्र नहीं बुलाने पर Manipur सरकार का करेगी बहिष्कार

सीओसीओएमआई के संयोजक जितेंद्र निंगोम्बा ने कहा कि 29 जुलाई को इंफाल में एक जन रैली के दौरान राज्य सरकार को पांच दिनों के भीतर एक विशेष विधानसभा सत्र बुलाने के लिए सूचित किया गया था।

निंगोम्बा ने मीडिया से कहा, "सरकार ने मांग स्वीकार नहीं की और लोगों की मांगों के अनुसार कार्य करने से इनकार कर दिया। इसलिए सीओसीओएमआई ने लोगों से राज्य सरकार का बहिष्कार करने का आग्रह किया है। संगठन मणिपुर के लोगों के साथ रहेगा और सरकार को कोई समर्थन नहीं देगा।"

उन्होंने कहा कि संगठन ने शनिवार को कथित "सशस्त्र कुकी उग्रवादियों" द्वारा बिष्णुपुर जिले के क्वाक्टा लमखाई गांव में तीन मैतेई लोगों की नृशंस हत्या की कड़ी निंदा की।

सीओसीओएमआई नेता ने पूछा, "कुकी उग्रवादी मैतेई गांव में कैसे घुस पाए, जिस पर असम राइफल्स का कड़ा पहरा था और उन्होंने तीन निहत्थे निर्दोष लोगों की हत्या कर दी?"

सीओसीओएमआई ने पांच बुलडोजरों का उपयोग करके सात हजार से अधिक कुकी पुरुषों और महिलाओं द्वारा तोरबुंग बांग्ला में मैतेई लोगों के सौ घरों को ध्वस्त किए जाने की भी निंदा की।

निंगोम्बा ने दावा किया, "केंद्रीय अर्धसैनिक बलों के सामने दिन के उजाले में दुर्भाग्यपूर्ण अमानवीय गतिविधि हुई। केंद्रीय बल के जवानों ने एक भी मैतेई घर को बचाने की कोशिश नहीं की।"

उन्होंने कहा कि सीओसीओएमआई अपनी मांगों के समर्थन में आंदोलन जारी रखेगी। मांगों में 'अवैध घुसपैठ रोकें', 'राष्ट्रीय जनसंख्या रजिस्टर (एनपीआर) लागू करें', 'मणिपुर का कोई बंटवारा नहीं', 'स्वदेशी लोगों की रक्षा करें', 'जंगल की रक्षा करें' और 'महिलाओं के खिलाफ अपराध रोकें' शामिल हैं।

मैतेई समुदाय मणिपुर की लगभग 32 लाख आबादी का 53 प्रतिशत हिस्सा है और इस समुदाय के लोग ज्यादातर घाटी क्षेत्रों में रहते हैं।

जनजातीय नगा और कुकी कुल आबादी का 40 प्रतिशत हिस्सा हैं और पहाड़ी जिलों में रहते हैं।

इस बीच, विपक्षी कांग्रेस समेत विभिन्न हलकों की मांग के मद्देनजर मणिपुर सरकार ने 21 अगस्त से विधानसभा सत्र बुलाने का फैसला लिया है।

एक अधिकारी ने बताया कि राज्य कैबिनेट ने शुक्रवार को राज्यपाल अनुसुइया उइके से 21 अगस्त को 12वीं मणिपुर विधानसभा का चौथा सत्र बुलाने की सिफारिश की है।

राजनीतिक हलकों में कहा गया कि यह स्पष्ट है कि इस महत्वपूर्ण सत्र में जातीय हिंसा संबंधित मुद्दों पर चर्चा की जाएगी।

आईएएनएस
इंफाल


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