संसद के महीने भर चले मॉनसून सत्र के दौरान लोकसभा में 12 और राज्यसभा में 15 विधेयक पारित किए गए। हालांकि सत्र के दौरान बिहार में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) सहित विभिन्न मुद्दों को लेकर दोनों सदनों में हंगामा हुआ जिससे कार्यवाही बार-बार बाधित हुई।

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सत्र की शुरुआत 21 जुलाई को हुई थी और पहले ‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर चर्चा की मांग को लेकर और बाद में एसआईआर मुद्दे पर चर्चा की मांग के चलते व्यवधान उत्पन्न होते रहे। इन कारणों से दोनों सदनों में कामकाज बहुत कम हुआ।
‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर दोनों सदनों में चर्चा हुई। लेकिन इसके अलावा अधिकतर समय हंगामे की भेंट चढ़ गया। राज्यसभा में हंगामे की वजह से एक बार भी शून्यकाल और प्रश्नकाल सामान्य तरीके से नहीं हो पाया।
इस सत्र में लोकसभा में 12 विधेयक पारित किए गए। इन विधेयकों में क्रमश: अनुसूचित जनजातियों के विधानसभा क्षेत्रों के पुनर्समायोजन से संबंधित गोवा विधेयक 2025, मर्चेंट शिपिंग विधेयक 2025, मणिपुर वस्तु एवं सेवा कर (संशोधन) विधेयक, 2025, मणिपुर विनियोग (संख्या 2) विधेयक 2025, राष्ट्रीय खेल प्रशासन विधेयक 2025, राष्ट्रीय एंटी-डोपिंग (संशोधन) विधेयक 2025 शामिल हैं।
इनके अलावा आयकर विधेयक 2025, कराधान कानून (संशोधन) विधेयक 2025, भारतीय बंदरगाह विधेयक 2025, खनिज और खनिज विकास (विनियमन और संशोधन) विधेयक 2025, भारतीय प्रबंधन संस्थान (संशोधन) विधेयक 2025, ऑनलाइन खेल संवर्धन और विनियमन विधेयक, 2025 भी लोकसभा में पारित किए गए।
राज्यसभा में इस सत्र के दौरान वहन-पत्र विधेयक 2025, समुद्री मालवाहन विधेयक 2025, तटीय शिपिंग विधेयक 2025, मणिपुर वस्तु एवं सेवा कर (संशोधन) विधेयक 2025, मणिपुर विनियोग (संख्या 2) विधेयक 2025, मर्चेंट शिपिंग विधेयक 2025, गोवा अनुसूचित जनजाति पुनर्समायोजन विधेयक 2025, राष्ट्रीय खेल प्रशासन विधेयक 2025, राष्ट्रीय एंटी-डोपिंग (संशोधन) विधेयक 2025, आयकर विधेयक 2025, कराधान कानून (संशोधन) विधेयक 2025, भारतीय बंदरगाह विधेयक 2025, खनिज और खनिज विकास (विनियमन और संशोधन) विधेयक 2025, भारतीय प्रबंध संस्थान (संशोधन) विधेयक 2025 पारित किए गए या चर्चा के बाद लौटा दिए गए।
सत्र के अंतिम दिन बृहस्पतिवार को उच्च सदन में ऑनलाइन खेल संवर्धन और विनियमन विधेयक, 2025 को मंजूरी दी गई।
एक सरकारी पदाधिकारी ने बताया, "इस बार संसद में काफी हंगामा हुआ और विपक्ष ने सहयोग नहीं किया। अपने इस रवैये के चलते विपक्ष ने कई अहम विधेयकों पर चर्चा का मौका गंवा दिया, जिन्हें पारित किया गया।"
उन्होंने बताया कि राज्यसभा में वहन-पत्र विधेयक 2025 सत्र के पहले दिन बिना किसी व्यवधान के पारित हुआ। उन्होंने बताया कि अन्य दिन बाकी विधेयक या तो शोरगुल के बीच पारित हुए या फिर विपक्ष के वॉकआउट के बाद। ये सभी विधेयक ध्वनिमत से पारित हुए।
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