सरकार राज्यसभा के लिए अधिक सम्मान सुनिश्चित करे : मनमोहन

Last Updated 18 Nov 2019 05:48:43 PM IST

पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने सोमवार को जम्मू एवं कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने के लिए प्रत्यक्ष रूप से सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि राज्यों का परिषद होने के नाते राज्यसभा को 'सरकार द्वारा उचित सम्मान' दिया जाना चाहिए


पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह

जम्मू एवं कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने के लिए प्रत्यक्ष रूप से सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि राज्यों का परिषद होने के नाते राज्यसभा को 'सरकार द्वारा उचित सम्मान' दिया जाना चाहिए और राज्य को केंद्र शासित प्रदेशों में तब्दील करने और इसकी सीमाओं को दोबारा सीमांकन करने के 'कठोर कदम' उठाने के समय राज्यसभा से संपर्क करना चाहिए था। संसद के शीतकालीन सत्र के पहले दिन राज्यसभा में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ने कहा कि राज्यसभा की तरफ से यह सुनिश्चित करना काफी महत्वपूर्ण कर्तव्य है कि भावना के ज्वार में कोई कानून पारित नहीं किया जाए। उन्होंने इस बयान के साथ एकबार फिर संसद द्वारा जम्मू एवं कश्मीर को विशेष राज्य का दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 को हटाने और इसे जम्मू एवं कश्मीर और लद्दाख के रूप में दो केंद्रशासित राज्य बनाने के पांच अगस्त के कदम का जिक्र किया।

सिंह ने राज्यसभा को ज्यादा प्रभावी बनाने के लिए कई सुझाव दिए।

उन्होंने यह भी कहा कि संसद को इस परंपरा का पालन करना चाहिए कि सभी विधेयक उच्च सदन में लाए जाएं। लेकिन अनुच्छेद 110 लोकसभा को धन विधेयक में प्रधानता प्रदान करता है।

पूर्व प्रधानमंत्री ने कहा, "हमने राज्यसभा में बिना किसी चर्चा के धन विधेयक का दुरुपयोग होते देखा है। संसद को यह सुनिश्चित करना चाहिए इस तरह की घटनाएं न हों, क्योंकि इससे संस्थान की गरिमा कम होती है।"



उन्होंने कहा कि राज्यसभा के सदस्यों की संख्या लोकसभा के सदस्यों की कुल संख्या की आधी है, लेकिन राज्यसभा के सदस्यों को अपनी बात रखने के लिए पर्याप्त समय नहीं मिल पाता है।

आईएएनएस
नई दिल्ली


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