आतंक की वापसी!

Last Updated 13 Oct 2021 12:31:15 AM IST

कश्मीर घाटी में 4 गैर मुस्लिम अल्पसंख्यकों की हत्या के बाद देश की राजधानी दिल्ली में एक पाकिस्तानी आतंकवादी के पकड़े जाने से सुरक्षा एजेंसियों के कान खड़े हो गए हैं।


आतंक की वापसी!

कश्मीर के सैकड़ों हिंदू परिवार दिल्ली में हैं, ऐसे में पाकिस्तानी आतंकवादी का पकड़ा जाना भयावह संकेत है।

भारत आने वाले आतंकवादियों को हथियार मुहैया कराने वाले इस आतंकवादी का नाम मोहम्मद अशरफ है और वह पाकिस्तान के पंजाब प्रांत का रहने वाला है। आतंकी अशरफ दिल्ली के स्लीपर सेल का मुखिया था। यह कहना मुश्किल है कि आतंकवादियों के इस तरह के स्लीपर सेल देश में कहां-कहां और किस-किस सीमा तक फैले हुए हैं।

पुलिस ने अशरफ के पास से एके 47 राइफल और गोला-बारूद भी बरामद किया है। जांच एजेंसियों को अशरफ से पूछताछ के बाद पता चला है कि आतंकवादी पर्व-त्योहारों के अवसर पर दिल्ली में किसी बड़े आतंकी वारदात को अंजाम देने की साजिश रच रहे थे। राहत की बात है कि पुलिस ने अशरफ को गिरफ्तार करके इस आतंकी साजिश को नाकाम कर दिया।

कश्मीर घाटी में गैर मुस्लिम अल्पसंख्यकों की हत्या और दिल्ली में पाकिस्तानी आतंकवादी के पकड़े जाने से अफगानिस्तान में तालिबान के कब्जे को लेकर उठाई जा रही आशंकाएं सही साबित होती दिखाई दे रही हैं। भारतीय सुरक्षा एजेंसियों के पास अभी शायद घटनाक्रमों को तालिबान से जोड़ने के सबूत नहीं होंगे, लेकिन दीवारों पर लिखी इबारत साफ है। जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद वहां जो सकारात्मक बदलाव हुए थे, उन पर सवालिया निशान लग गए हैं। ऐसा माना जा रहा है कि कश्मीर में आतंकवाद वापस लौट रहा है।

जाहिर है वहां जिस तरह से आतंकवादी घटनाएं हो रहीं हैं, उसके पीछे पाकिस्तान की सेना, सरकार और खुफिया एजेंसी आईएसआई का हाथ है। हालांकि कश्मीर घाटी में सुरक्षा बल आतंकियों की तलाश में लगातार सर्च अभियान चला रहे हैं। पुंछ जिले में आतंकवाद निरोधी अभियान के तहत सुरक्षा बलों और आतंकवादियों के बीच हुई मुठभेड़ में एक जूनियर कमीशंड अधिकारी समेत पांच सैन्य कर्मी शहीद हो गए। पाकिस्तान की शह के कारण भारत के लिए आतंकवाद एक गंभीर चुनौती बना हुआ है, लेकिन हमारे सुरक्षाबल इन चुनौतियों का सामना करने में सक्षम हैं।



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