भारत बंद का औचित्य!

Last Updated 10 Jan 2020 05:17:40 AM IST

दस श्रमिक संघों द्वारा आयोजित भारत बंद कई घटनाओं के कारण सुर्खियां नहीं बन पाया, पर इसका यह अर्थ नहीं कि इसे गंभीरता से नहीं लिया जाए।


भारत बंद का औचित्य!

चूंकि भारतीय मजदूर संघ इसमें शामिल नहीं था इसलिए इसका असर उतना नहीं हुआ जितना हो सकता था। भारत बंद लगभग बेअसर रहा। भारत बंद सफल भले नहीं हो, लेकिन इतनी संख्या में श्रमिक संगठन सड़कों पर उतरते हैं तो शासन को गंभीर होना चाहिए। जो भी उनकी मांग है उन पर विचार किया जा सकता है किया जाना चाहिए। चूंकि भारतीय रिजर्व बैंक सहित सामान्य बैंकों एवं इन्श्योरेंस कंपनियों के श्रमिक इसमें शामिल थे इसलिए इनकी सेवाओं पर असर पड़ना स्वाभाविक था।

बैंकिंग सेवाएं प्रभावित हुई। इस समय जिस तरह की राजनीति देश में हो रही है उस कारण श्रमिक संघों का यह भारत बंद भी इसका शिकार हुआ। पश्चिम बंगाल में सर्वाधिक हिंसा एवं गिरफ्तारी इसी का प्रमाण है। आखिर श्रमिकों के बंद में तृणमूल तथा छात्र संगठन एसएफआई के बीच टकराव होने का क्या कारण हो सकता है? इस बंद से तृणमूल या छात्र संगठन से क्या लेना-देना था। साफ है कि यह केंद्र सरकार विरोधी राजनीति का ही एक अंग बन गया।

जब सीधे राजनीतिक दल इसमें शिरकत करते दिख रहे हों तो सरकार के लिए निष्कर्ष निकालना स्वाभाविक है कि यह भी उसके खिलाफ माहौल बनाने की कोशिशों की ही परिणति है। वैसे भी ज्यादातर शहरों में बंद का असर नहीं देखा गया। हड़ताल, बंदी, अहिंसक आंदोलन हमारे लोकतंत्र की सुन्दरता हो सकती है बशर्ते इसके वास्तविक चरित्र को बनाए रखा जाए। हमें अपनी सरकार के खिलाफ किस सीमा तक जाना है इसका ध्यान रखा जाना चाहिए। इसके पीछे मांग भी नैतिक और व्यावहारिक हो। बंद में जो 12 मांगें रखीं गई, उनमें से कई ऐसे हैं जिनके लिए भारत बंद की आवश्यकता समझ में नहीं आती।

मसलन, जन वितरण प्रणाली का विस्तार, मजदूरों का न्यूनतम वेतन 21 हजार रु पया करना। ये ऐसी मांगें हैं जो केंद्र एवं राज्य दोनों से जुड़े हैं। रेलवे में विदेशी निवेश नहीं करने की मांग पर देश के अंदर ही एक राय नहीं हो सकतीं। बैंकों के विलय का ये विरोध कर रहे हैं, जबकि ऐसा नहीं होता तो कई बैंकों के बंद होने की नौबत आ गई थी। बावजूद इससे पता चलता है कि एक वर्ग इन निर्णयों के पक्ष में नहीं है। सरकार को बातचीत कर उनका पक्ष समझने में कोई हर्ज नहीं होना चाहिए।



Post You May Like..!!

Latest News

Entertainment