'डबल इंजन' वाली सरकार महाराजा सुहेलदेव के साथ अन्याय नहीं होने देगी : आदित्यनाथ
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सालार मसूद के महिमामंडन का विरोध करते हुए मंगलवार को कहा कि पकड़े जाने के बाद 'विदेशी आक्रमणकारी' को ऐसी सजा दी गई थी कि "इस्लाम के अनुसार उसे जहन्नुम में जगह मिलना तय था"।
![]() उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ |
आदित्यनाथ ने कहा कि "इतिहास ने भले ही उनके (महाराजा सुहेलदेव) साथ अन्याय किया हो, लेकिन 'डबल इंजन' वाली यह सरकार उनके साथ अन्याय नहीं होने देगी।"
राजभर समुदाय के प्रतीक महाराजा सुहेलदेव ने सन 1033 में बहराइच में चित्तौरा झील के तट पर एक युद्ध में गजनवी सेनापति गाजी सैयद सालार मसूद को हराकर मार डाला था।
योगी आदित्यनाथ ने महाराजा सुहेलदेव की प्रतिमा के अनावरण और 1,243 करोड़ रुपये की 384 विकास परियोजनाओं के लोकार्पण तथा शिलान्यास के अवसर पर कहा, "मैंने बहराइच की धरती पर कहा था कि विदेशी आक्रांताओं का महिमामंडन बंद होना चाहिए और राष्ट्रीय नायकों का सम्मान किया जाना चाहिए। और 1,000 साल पहले साहस एवं वीरता की ऐसी ही एक कहानी थी, जिसे महाराजा सुहेलदेव ने बहराइच की इसी धरती पर सच कर दिखाया था।"
आदित्यनाथ ने कहा, "जब एक विदेशी आक्रमणकारी, जो गजनी से अपनी तीन लाख की सेना के साथ भारत को लूटने के लिए आगे बढ़ा, उस बर्बर और विदेशी आक्रमणकारी को रोकने के लिए महाराजा सुहेलदेव ने मथुरा से बहराइच तक उसके (शत्रु के) मार्ग में ऐसी अनेक बाधाएं खड़ी कीं कि जब तक वह दुर्दांत आक्रमणकारी (यहां) पहुंचा, तब तक उसकी आधी सेना नष्ट हो चुकी थी।"
उन्होंने कहा कि "जब वह (मसूद) चित्तौड़ा नामक स्थान पर पहुंचा और महाराजा सुहेलदेव का सामना कर रहा था, तब महाराजा सुहेलदेव के पास 20,000 से 25,000 वीर सैनिक थे, जबकि सालार मसूद के पास डेढ़ लाख योद्धा थे।"
आदित्यनाथ ने कहा, "लेकिन, इन 20,000 से 25,000 बहादुरों ने विदेशी आक्रमणकारियों को गाजर-मूली की तरह काट डाला और दुष्ट सालार मसूद को जिंदा पकड़ लिया गया और उसे ऐसी सजा दी गई कि इस्लाम के मुताबिक उसे जहन्नुम में जगह मिलनी तय है।"
मुख्यमंत्री ने कहा कि इतिहास ने भले ही उनके (महाराजा सुहेलदेव) साथ अन्याय किया हो, लेकिन 'डबल इंजन' वाली यह सरकार उनके साथ अन्याय नहीं होने देगी।
| Tweet![]() |