विवाहित महिला कैदी पहन सकती हैं ‘मंगलसूत्र’, मना सकती हैं करवा चौथ

Last Updated 21 Aug 2022 09:33:54 AM IST

उप्र की नई जेल नियमावली के प्रावधानों के अनुसार अब विवाहित महिला कैदी ‘मंगलसूत्र’ पहन सकेंगी और राज्य की जेलों में करवा चौथ एवं तीज जैसे त्योहार मना सकेंगी।


विवाहित महिला कैदी पहन सकती हैं ‘मंगलसूत्र’, मना सकती हैं करवा चौथ

राज्य मंत्रिमंडल ने इस सप्ताह की शुरुआत में उप्र जेल नियमावली को मंजूरी दी थी, जिसमें 1941 की नियम पुस्तिका के निर्थक और अव्यवहारिक प्रावधानों को हटा दिया गया था।
राज्य के मंत्री धर्मवीर प्रजापति ने बताया कि नयी जेल नियमावली में कैदियों, विशेषकर महिलाओं के प्रति अधिक मानवीय और संवेदनशील दृष्टिकोण अपनाया गया है। नयी जेल नियमावली विवाहित महिला कैदियों को अपना ‘मंगलसूत्र’ पहनने की अनुमति देता है।

इससे पहले, उन्हें केवल चूड़ियां, पायल और नाक की कील पहनने की अनुमति थी। नयी जेल नियमावली के अनुसार, सैनिटरी नैपकिन, नारियल तेल और शैम्पू भी उन वस्तुओं की सूची में हैं जो उन्हें प्रदान की जाएंगी। महिला कैदियों से पैदा हुए बच्चों को जन्म के समय पंजीकृत किया जाएगा और उनका सभी अनिवार्य टीकाकरण किया जाएगा। उनका नामकरण संस्कार भी किया जा सकता है। इसके साथ ही बैरक में अपनी मां के साथ रहने वाले बच्चों की पढ़ाई का भी ध्यान रखा जाएगा और हर जेल में एक शिक्षक की व्यवस्था की जाएगी।

मंत्री ने कहा कि ऐसे बच्चों को उनकी माताओं द्वारा किए गए अपराध के बारे में बैरक में लगातार हो रही बातचीत से दूर रखने के लिए बच्चों के लिए पार्क की भी व्यवस्था की जा रही हैं। उन्होंने कहा कि गर्भवती और दूध पिलाने वाली माताओं को चिकित्सा सुविधाओं के अलावा सभी देखभाल और अतिरिक्त पौष्टिक आहार मिलेगा।  शिक्षा और मनोरंजन के उद्देश्य से ऑडियो-विजुअल मीडिया उपलब्ध कराया जाएगा। 

जेल में बंद सगे संबंधियों और जीवनसाथी से सप्ताह में एक बार मिलने की अनुमति होगी। एक अन्य महत्वपूर्ण परिवर्तन यह है कि विचाराधीन कैदियों को अब हथकड़ी या जंजीर से बांधकर एकांत कारावास में नहीं रखा जाएगा। उप्र में 62,000 कैदियों को समायोजित करने की क्षमता वाली 75 जेलें हैं। हालांकि, जेलों में फिलहाल 1.18 लाख कैदी हैं।

भाषा
लखनऊ


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