अलीगढ में नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ प्रदर्शन पर रोक,इंटरनेट सेवाएं बंद
अलीगढ जिला प्रशासन ने नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ महापौर की अगुवाई में आयोजित होने वाले प्रदर्शन की इजाजत देने से मना करते हुए जिले में इंटरनेट सेवाएं गुरुवार रात 12 बजे से शुक्रवार शाम 5 बजे तक बंद कर दी हैं।
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जिलाधिकारी चंद्र भूषण सिंह ने बताया कि सीएए के खिलाफ महापौर मोहम्मद फुरकान की अगुवाई में विरोध प्रदर्शन के आयोजन के लिए कानून-व्यवस्था की दृष्टि से इजाजत नहीं दी गई है।
उन्होंने बताया कि जिले में इंटरनेट सेवाओं को एहतियात के तौर पर गुरुवार रात 12 बजे से आज शाम 5 बजे तक प्रतिबंधित कर दिया गया है।
इसबीच, अलीगढ मुस्लिम विश्वविद्यालय में टीचर्स एसोसिएशन और छात्रों द्वारा सीएए के खिलाफ प्रदर्शन से पहले परिसर में अभूतपूर्व नाकाबंदी कर दी गयी है।
पुलिस उपमहानिरीक्षक परमिंदर सिंह ने कहा है कि पुलिस ने विश्वविद्यालय के बाब-ए-सर सैयद गेट और विश्वविद्यालय सर्किल के बीच बैरीकेडिंग लगा दी हैं। किसी को भी बैरियर पार करने की इजाजत नहीं है। अगर किसी ने ऐसी कोशिश की तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
प्रदर्शनकारियों को जुमे की नमाज के बाद बाब-ए-सर सैयद गेट से विविद्यालय सर्किल तक मार्च निकालकर जिला प्रशासन को ज्ञापन सौंपना था मगर पुलिस ने सर्किल तक आने वाले तमाम रास्तों को बंद कर दिया है।
अलीगढ मुस्लिम विश्वविद्यालय टीचर्स एसोसिएशन (एएमयूटीए) ने नागरिकता संशोधन विधेयक पास होने को आजाद भारत के इतिहास का काला दिन बताते हुए बुधवार शाम को अपनी आपातकालीन बैठक में पारित प्रस्ताव में कहा कि सत्तारूढ दल ने संसद में अपनी सदस्य संख्या के बल पर विधेयक पारित करा लिया। यह आजाद भारत के इतिहस का काला दिन है।
शिक्षकों की बैठक में यह भी प्रस्ताव पास हुआ था कि पुलिस ने शांतिपूर्वक विरोध प्रदर्शन कर रहे जिन 520 छात्रों के खिलाफ मामला दर्ज किया है, उसे फौरन वापस लिया जाए क्योंकि शांतिपूर्वक प्रदर्शन करना हर एक नागरिक का अधिकार है।
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