लगातार पांचवें दिन भी जारी गुर्जर आंदोलन, रेल-सड़क सेवा प्रभावित, सीएम ऑफिस में बैठक
राजस्थान में पांच प्रतिशत आरक्षण की मांग को लेकर गुर्जर आंदोलन आज पांचवें दिन भी जारी हैं।
लगातार 5वें दिन भी जारी गुर्जर आंदोलन, रेल सेवा प्रभावित |
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की अध्यक्षता में आज इस मांग को लेकर चल रहे गुर्जर आंदोलन पर एक उच्च स्तरीय बैठक की जा रही हैं। बैठक में उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट, चिकित्सा मंत्री रुघु शर्मा तथा खेल राज्य मंत्री अशोक चांदना, विधायक जितेन्द्र सिंह एवं जी आर खटाणा भी मौजूद हैं। आंदोलन का हल निकालने के मकसद से बैठक में गुर्जर समाज से आने वाले इन मंत्री एवं विधायकों को बुलाया गया हैं।
इससे यह लग रहा है कि राज्य सरकार के हस्तक्षेप से आज गुर्जर आंदोलन का कोई हल निकाला जा सकता हैं।
इस आंदोलन के चलते गुर्जर बहुल जिलों में कई रेल व सड़क मार्ग बंद हैं। अनेक ट्रेनें रद्द कर दी गयी हैं या उनके मार्ग में बदलाव किया गया है हालांकि रविवार के बाद किसी तरह की अप्रिय घटना का समाचार नहीं है।
गुर्जर नेता विजय बैंसला के अनुसार सरकार की ओर से बातचीत या संवाद का कोई नया संदेश नहीं आया है और गुर्जर समाज का आंदोलन जारी है। उन्होंने कहा,‘धरने पर बैठे हैं और धरना जारी रहेगा। सरकार की ओर से शनिवार के बाद कोई संदेश नहीं है।’
पुलिस महानिदेशक (कानून व्यवस्था) एम एल लाठर ने बताया कि आंदोलनकारियों ने चाकसू में राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या 52 को भी मंगलवार को जाम कर दिया। आंदोलनकारी दौसा जिले में सकिंदरा के पास राष्ट्रीय राजमार्ग को अवरूद्ध कर चुके हैं। इसके साथ ही नैनवा (बूंदी), बुंडला (करौली) व मलारना में भी सड़क मार्ग अवरूद्ध है। टोंक जिले में कोटा जयपुर राजमार्ग को बनास पुलिया पर, लालसोट गंगापुर करौली राजमार्ग पर भी जाम किया गया है।
वहीं रेलवे ने आंदोलन के कारण कई और रेलगाड़ियों को रद्द किया है। उत्तर पश्चिम रेलवे के प्रवक्ता ने बताया कि मंगलवार को तीन ट्रेनें रद्द की गयीं जिनमें हजरत निजामुद्दीन-अहमदाबाद, हजरत निजामुद्दीन- उदयपुर व उदयुपर- हजरत निजामुद्दीन ट्रेनें शामिल हैं। इसी तरह दो और ट्रेनों के मार्ग में बदलाव किया गया है।
उल्लेखनीय है कि गुर्जर नेता राज्य में सरकारी नौकरियों और शिक्षण संस्थानों में प्रवेश के लिए पांच प्रतिशत आरक्षण की मांग को लेकर शुक्रवार शाम को सवाईमाधोपुर के मलारना डूंगर में रेल पटरी पर बैठ गए। गुर्जर नेता किरोड़ी सिंह बैंसला व उनके समर्थक यहीं जमे हैं।
गुर्जर समाज सरकारी नौकरियों और शिक्षण संस्थानों में प्रवेश के लिए गुर्जर, रायका रेबारी, गडिया, लुहार, बंजारा और गड़रिया समाज के लोगों को पांच प्रतिशत आरक्षण की मांग कर रहा है। फिलहाल अन्य पिछड़ा वर्ग के आरक्षण के अतिरिक्त 50 प्रतिशत की कानूनी सीमा में गुर्जरों को अति पिछड़ा श्रेणी के तहत एक प्रतिशत आरक्षण अलग से मिल रहा है।
दस फरवरी को धौलपुर जिले में आंदोलन के हिंसक होने के बाद दौसा, भरतपुर, धौलपुर, सवाईमाधोपुर और करौली में निषेधाज्ञा लागू कर दी गई थी, इसके बाद टोंक में भी धारा 144 लागू कर दी गई। आंदोलन के मद्देनजर शांति एवं कानून व्यवस्था बनाये रखने के लिए पुख्ता इंतजाम किये गये हैं और इसके तहत अर्धसैनिक बलों की कई कंपनियां तैनात की गई हैं।
उधर दौसा के सिकन्दरा में आंदोलनकारियों ने राज्य की महिला एवं बाल विकास राज्य मंत्री ममता भूपेश का एक चौराहे पर लगे होर्डिंग को जलाने की सूचना भी मिली हैं।
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