दिल्ली की नई सूची में 58,182 वोटर घटे
मुख्य निर्वाचन अधिकारी (सीईओ) दिल्ली, पी. कृष्णमूर्ति ने सोमवार को राजधानी के मतदाताओं की वर्ष 2024 की पुनरीक्षित मतदाता सूची जारी कर दी।
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नई मतदाता सूची में 58,182 मतदाताओं की कमी आई है। यानी वर्ष 2023 की मतदाता सूची में मतदाताओं की कुल संख्या 1,47,76,301 थी, अब यह घटकर 1,47,18,119 रह गई है। सीईओ का कहना है पुनरीक्षित मतदाता सूची में पुरुषों की अपेक्षा महिलाओं का अनुपात 5 फीसद सुधरकर 843 पर पहुंच गया है। मतदाता सूची में जोड़े गए कुल 2,54,470 मतदाताओं में 26 फीसद युवा हैं। खास बात यह है कि मतदाता सूची में भावी मतदाताओं के रूप में 9335 ऐसे युवाओं ने भी पंजीकरण कराया है, जो आने वाले 1 अप्रैल, 1 जुलाई और 1अक्टूबर को 18 साल के हो जाएंगे।
उन्होंने बताया कि मतदाता सूचियों के पुनरीक्षण के दौरान युवाओं को जोड़ने पर पूरा फोकस रखा गया। शायद यही वजह है कि मतदाताओं के नामांकन में 85.5 फीसद की बढ़ोतरी देखने को मिली है। राजधानी में अब कुल मतदाताओं की संख्या 1,47,18,119 हो गई है। इसमें 79,86,752 पुरुष एवं 67,30,371 महिलाओं की संख्या है, जबकि र्थड जेंडर की संख्या 1176 है। पिछली मतदाता सूची में महिला मतदाताओं का अनुपात 838 था, जो अब बढ़कर 843 पहुंच गई है।
युवाओं की संख्या 67,930 है। सीईओ ने बताया कि महिला लिंग अनुपात में बढ़ोतरी इस बाद का संकेत है कि लोकतंत्र में महिलाओं की हिस्सेदारी मजबूत हो रही है। उन्होंने बताया कि मतदाता सूची के पुनरीक्षण के दौरान इस बात का पूरा ध्यान रखा गया कि किसी भी तरह की त्रुटि न रह जाए। संख्या की बात करें तो पुरुषों की संख्या में 52,104 (पुरानी संख्या 80,38,676) जबकि महिला मतदाताओं की संख्या में 6099 (पुरानी संख्या 67,36,470) की कमी आई है।
उन्होंने बताया कि थर्ड जेंडर में भी बढ़ोतरी देखने के मिली है। पुनरीक्षण प्रक्रिया में लगे लोगों के प्रयासों के सकारात्मक परिणाम सामने आए हैं। सीईओ ने बताया कि त्रुटि रहित मतदाता सूचियों के लिए पुनरीक्षण जरूरी हो गया था। नए लोगों को जोड़ने के साथ ही स्थानांतरित/ मृत मतदाताओं का नाम हटाकर उन्हें जोड़ने एक सतत प्रक्रिया है।
घर-घर सर्वेक्षण के बाद 3,97,004 के नाम हटाए गए हैं। इनमें स्थानांतरित मतदाताओं की संख्या 3,07,788 थे, जबकि मृत मतदाताओं की संख्या 56,733 थी। इसके अलावा एक ही मतदाता का नाम एक से अधिक जगह होने की वजह से 32,443 लोगों के नाम हटाए गए। उन्होंने बताया कि नामांकन के लिए अधिक से अधिक लोगों को जागरूक करने के लिए जागरूकता अभियान चलाया गया। इसमें प्रमुख रूप से सार्वजनिक विज्ञापन, विभिन्न एफएम रेडियो चैनलों पर जिंगल जैसे कार्यक्रम चलाए गए, जिससे लोगों का ध्यान खींचा जा सके। सार्वजनिक स्थानों पर नुक्कड़ नाटक, मुनादी भी कराई गई।
उन्होंने बताया कि पुनरीक्षण कार्यक्रम के दौरान डिजिटल पण्राली का अधिक से अधिक इस्तेमाल कर मतदाताओं को भी डिजिटल प्रणाली के इस्तेमाल करने की सलाह दी गई। दिव्यांगों के लिए अलग से ऐप की मदद से उन तक पहुंचने में मदद मिली। सीईओ ने एक्स हैंडल, फेसबुक, इंस्ट्राग्राम एवं यू टय़ूब पर भी लोगों को नामांकन करने की सलाह दी गई।
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