बिहार विधानमंडल के मानसून सत्र से नदारद तेजस्वी, पूछे जाने पर पत्रकारों पर भड़की मां राबड़ी
बिहार विधानसभा का मानसून सत्र की शुरूआत शुक्रवार को हो चुकी है। सत्र के पहले दिन विधानसभा में विपक्ष के नेता और पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद यादव भाग लेने नहीं पहुंचे।
पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी (फाइल फोटो) |
इस संबंध में जब उनकी मां और पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी से पूछा गया तो वह पत्रकारों पर ही झल्ला उठी। उन्होंने पत्रकारों से कहा कि तेजस्वी आपके ही घर में हैं। राबड़ी देवी विधान परिषद की कार्यवाही में शामिल होने पहुंची, तब राजद के सदस्यों ने उनका स्वागत किया।
इस दौरान पत्रकारो ने जब राबड़ी देवी से तेजस्वी यादव के संबंध में पूछा तो उन्होंने झल्लाते हुए कहा, "तेजस्वी आपके ही घर में हैं।"
इधर, राजद विधायक भाई वीरेंद्र ने कहा कि राजद नेतृत्वविहीन नहीं है। उन्होंने कहा, "वे नहीं होंगे तो उनकी जगह कोई और संभालेगा।" उन्होंने हालांकि यह भी कहा कि जल्द ही तेजस्वी यादव आएंगे।
उल्लेखनीय है कि लोकसभा चुनाव में राजद को मिली करारी हार के बाद 29 मई को हुई राजद की समीक्षा बैठक के बाद से तेजस्वी यादव सार्वजनिक रूप से पटना में नजर नहीं आए हैं। इसको लेकर राजद के विरोधी लगातार तेजस्वी यादव पर निशाना साध रहे हैं।
विपक्ष ने एईएस को लेकर किया हंगामा
त्र के पहले ही दिन विपक्ष ने अपने तेवर गर्म करते हुए मुजफ्फरपुर में चमकी बुखार और कानून व्यवस्था की गिरती स्थिति को लेकर सदन के बाहर हंगामा किया और राज्य के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय के इस्तीफे की मांग की। मानूसन सत्र शुरू होने के पहले ही कांग्रेस और भाकपा माले के विधायकों ने सदन के बाहर प्रदर्शन किया। उन्होंने राज्य में फैले एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम (एईएस) से बच्चों की मौतों के लिए सरकार को जिम्मेदार बताते हुए राज्य के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय को बर्खास्त करने की मांग की। प्रदर्शन करने वाले विपक्षी सदस्य अपने हाथों में बड़े-बड़े पोस्टर लेकर यहां पहुंचे थे।
राजद के विधायक भाई वीरेंद्र ने कहा कि स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय को बर्खास्त करना चाहिए। उन्होंने कहा कि 175 से ज्यादा बच्चों की मौत हो गई है पर असंवेदनशील सरकार के स्वास्थ्य मंत्री के नींद नहीं टूटी है।
प्रदर्शन कर रहे भाकपा (माले) के विधायकों ने कहा कि इंसेफेलाइटिस को लेकर बड़ी बैठक के दौरान बच्चों की मौतों के सवाल से ज्यादा स्वास्थ्य मंत्री क्रिकेट का स्कोर जानने में उत्सुक थे।
उल्लेखनीय है कि बिहार के मुजफ्फरपुर और इसके आसपास के जिलों में एईएस से 160 से ज्यादा बच्चों की मौत हो गई है।
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