महुआ मोइत्रा के निष्कासन पर सुप्रीम कोर्ट ने लोकसभा सचिवालय को जारी किया नोटिस, मांगा जवाब

Last Updated 03 Jan 2024 03:25:14 PM IST

सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को तृणमूल कांग्रेस नेता महुआ मोइत्रा द्वारा संसद के निचले सदन से उनके निष्कासन को चुनौती देने वाली याचिका पर लोकसभा सचिवालय को नोटिस जारी किया।


उच्चतम न्यायालय ने तृणमूल कांग्रेस नेता महुआ मोइत्रा को संसद के निचले सदन से निष्कासित किये जाने को चुनौती देने वाली उनकी याचिका पर बुधवार को लोकसभा महासचिव से जवाब मांगा।

न्यायमूर्ति संजीव खन्ना और न्यायमूर्ति दीपांकर दत्ता की पीठ ने मोइत्रा की सदन की कार्यवाही में शामिल होने देने की अंतरिम प्रार्थना पर आदेश पारित करने से इनकार करते हुए कहा कि इसकी अनुमति देना मुख्य याचिका को स्वीकार करने के समान होगा।

न्यायमूर्ति खन्ना ने मोइत्रा की पैरवी कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक सिंघवी से कहा, ‘‘हम अंतरिम राहत की आपकी याचिका पर मार्च में सुनवाई करेंगे।’’

शीर्ष अदालत ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला और लोकसभा की आचार समिति को नोटिस जारी करने से इनकार करते हुए कहा कि वह केवल लोकसभा महासचिव से जवाब मांगेगी। मोइत्रा ने अपनी याचिका में दोनों को पक्ष बनाया था।

लोकसभा महासचिव की ओर से सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने अदालत से अनुरोध किया कि औपचारिक नोटिस जारी नहीं किया जाए और वह मोइत्रा की याचिका पर जवाब दाखिल करेंगे।

मेहता ने कहा कि अदालत को राज्य के संप्रभु अंग के अनुशासन संबंधी आंतरिक मामले में हस्तक्षेप नहीं करना चाहिए। इसके बाद पीठ ने आदेश पारित किया और आगे की सुनवाई 11 मार्च से शुरू होने वाले सप्ताह में करने पर सहमति जताई।

लोकसभा में गत आठ दिसंबर को संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने तृणमूल कांग्रेस सांसद मोइत्रा को ‘अनैतिक आचरण’ के लिए सदन से निष्कासित करने का प्रस्ताव रखा था जिसे सदन ने ध्वनिमत से पारित कर दिया था।

लोकसभा की आचार समिति ने मोइत्रा को पैसे लेकर सवाल पूछने के मामले में अनैतिक आचरण का दोषी पाया था और उन्हें सदन से निष्कासित करने की सिफारिश की थी।

भाषा
नई दिल्ली


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