सोमवार को जस्टिस बोबडे 47वें प्रधान न्यायाधीश पद की शपथ लेंगे
न्यायमूर्ति शरद अरविंद बोबडे सोमवार को देश के 47वें प्रधान न्यायाधीश (सीजेआई) पद की शपथ लेंगे।
न्यायमूर्ति शरद अरविंद बोबडे (file photo) |
उन्होंने कई ऐतिहासिक फैसलों में अहम भूमिका निभाई और हाल ही में अयोध्या के विवादित स्थल पर राम मंदिर बनाने का रास्ता साफ करने के फैसले में भी वह शामिल रहे हैं।
63 वर्षीय न्यायमूर्ति बोबडे मौजूदा प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई का स्थान लेंगे।
माना जा रहा है कि उच्च न्यायपालिका में न्यायाधीशों की नियुक्ति या उनके नाम को खारिज करने संबंधी कोलेजियम के फैसलों का खुलासा करने के मामले में वह पारंपरिक दृष्टिकोण अपनाएंगे।
न्यायमूर्ति गोगोई ने अदालतों में भर्तियों और आधारभूत संरचनाओं की कमी पर संज्ञान लिया और सभी राज्यों तथा संबंधित उच्च न्यायालयों को जरूरी कदम उठाने के निर्देश देने के साथ खुद निगरानी भी की थी।
अयोध्या राम जन्मभूमि विवाद पर फैसला देकर 1950 से चल रहे विवाद का पटाक्षेप करने वाली पांच न्यायाधीशों की पीठ में न्यायमूर्ति बोबडे भी थे।
अगस्त 2017 में तत्कालीन सीजेआई जे एस खेहर की अध्यक्षता में नौ न्यायाधीशों की पीठ ने एकमत से, निजता के अधिकार को भारत में संवैधानिक रूप से संरक्षित मूल अधिकार होने का फैसला दिया था। इस पीठ में भी न्यायमूर्ति बोबडे शामिल थे।
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