स्तनपान कराने से जल्दी गर्भधारण की संभावना कम

Last Updated 01 Aug 2017 03:27:17 PM IST

पंजाब सरकार ने जच्चा और बच्चा दोनों के स्वास्थ्य के लिए महिलाओं से बच्चों को दो साल तक स्तनपान कराने की अपील करते हुए कहा कि दोनों के स्वस्थ रहने तथा जल्दी दोबारा गर्भधारण से बचने के लिए नियमित स्तनपान कराना आवश्यक है.


(फाइल फोटो)

विश्व स्तनपान सप्ताह की शुरूआत के मौके पर राज्य सरकार के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग ने विज्ञापन के माध्यम से बताया है कि मां का दूध बच्चे के लिए कुदरती खुराक है और बच्चे को अपना दूध पिलाना हर मां की जिम्मेदारी है. इससे ना केवल मां स्वस्थ रहती है बल्कि दोबारा जल्द गर्भधारण की संभावना भी कम रहती है.
   
इस संबंध में जालंधर की वरिष्ठ चिकित्सा पदाधिकारी संगीता कपूर ने कहा कि नवजात बच्चे को निमोनिया और दस्त से बचाने के लिए तथा शारीरिक एवं मानसिक विकास के लिए यह आवश्यक है कि मां का पहला गाढ़ा दूध पिलाया जाए.
 
संगीता ने कहा कि मां को स्वस्थ रहने तथा दोबारा जल्दी गर्भधारण से बचने के लिए भी बच्चे को नियमित स्तनपान करवाना चाहिए. इसका एक और बड़ा फायदा यह है कि बच्चे के जन्म के समय जो भी जटिलतायें होती है उसमें इससे बड़ा फायदा पहुंचता है.


    
उन्होंने बताया कि जन्म से लेकर छह महीने तक बच्चे को केवल मां का दूध ही पिलाना चाहिए. पहले छह महीने तक नवजात को पानी भी नहीं दिया जाना चाहिए.
    
यह पूछने पर कि कब तक स्तनपान करवाना चाहिए तो उन्होंने कहा कि छह महीने के बाद अन्य खुराक के साथ-साथ बच्चे के दो साल की उम्र तक नियमित स्तनपान करवाना चाहिए. इससे स्तन कैंसर से तो बचाव होता ही है बच्चे के जन्म के समय होने वाली जटिलताओं से भी बचा जा सकता है.

भाषा


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