उप्र में 6 लाख राशन कार्ड पर लटकी तलवार

Last Updated 02 Nov 2019 03:05:06 PM IST

उत्तर प्रदेश में कई स्थानों पर गड़बड़ियों के मामले सामने आने पर अब इन कार्डो पर खाद्य रसद विभाग की तलवार लटक रही है


उत्तर प्रदेश सरकार राशन कार्ड में हो रही धांधलियों पर लगाम लगाने की तैयारी कर रही है। कई स्थानों पर गड़बड़ियों के मामले सामने आने पर अब इन कार्डो पर खाद्य रसद विभाग की तलवार लटक रही है। प्रदेश सरकार करीब छह लाख परिवारों के राशन कार्ड निरस्त कर सकती है। एक अधिकारी ने बताया कि काफी दिनों से अलग-अलग जिलों में दोहरा राशन लिए जाने की शिकायतें आ रही थीं।

अधिकारी ने कहा, "अब गड़बड़ी पकड़ में आने के बाद खाद्य रसद विभाग ने इन कार्डो को रद्द करने की तैयारी कर ली है। छह लाख परिवारों के नाम पर खाद्यान्न की डबल आपूर्ति के इस मामले में विभाग की बड़ी तकनीकी खामी पकड़ में आई है।"

वास्तविक परिवार को रियायती दरों पर राशन मिले, इसके लिए सरकार ने राशन कार्ड को आधार से जोड़ा था, ताकि लोग दो राशन कार्ड न बनावा पाएं। इस बाबत एक विशेष सॉफ्टवेयर भी तैयार किया गया था। इसके बावजूद शिकायतें सामने आईं।

उन्होंने कहा, "एक आधार नंबर के माध्यम से एक जिले में दो राशन कार्ड बनाने पर तो लोग पकड़ में आ सकते हैं, लेकिन दो अलग-अलग जिलों में यदि एक ही आधार से दो राशन कार्ड बने हैं तो यह पकड़ना मुश्किल है।"

यही तकनीकी खामी प्रदेश में धांधली की वजह बन गई। करीब छह लाख परिवारों के राशन कार्ड दो जिलों में बन गए। खाद्य रसद विभाग के एक अधिकारी के मुताबिक, यह मामला भी तब पकड़ में आया, जब पिछले दिनों डी-डुप्लीकेशन सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल प्रदेश स्तर पर किया गया। फिलहाल यह प्रकरण शासन के पास भेजा गया है।

पहले भी राशन वितरण में तकनीकी प्रणाली लागू करने के बावजूद प्रदेश में बहुत सारी खामियां उजागर हुई हैं। बीते दिनों सिद्घार्थनगर के मिठवल ब्लॉक के ग्राम छरहटा में प्रधान ने आरोप लगाया था कि उनके गांव में 254 राशन कार्ड हैं, जिसमें 54 फर्जी नाम हैं।

ग्राम प्रधान ने कहा था, "इसके चलते उन लोगों को भी राशन मिल रहा है, जो कमजोर तबके के नहीं हैं। कई मृतकों के नाम भी राशन कार्ड से नहीं हटाए गए हैं। उनके नाम पर भी राशन लिया जा रहा है।"

प्रधान ने कहा कि इसकी शिकायत भी कई बार संबंधित अधिकारियों से की गई, लेकिन इस बाबत कभी कोई कदम नहीं उठाया गया।

खाद्य आयुक्त मनीष चौहान ने कहा, "प्रदेश स्तर पर डेटा चेक किया गया। इसमें करीब छह लाख राशन कार्डो में डुप्लीकेसी पाई गई है। इसमें एक आधार में दो बार राशन कार्ड फीड है। इसे खत्म किया जाएगा। हालांकि, अभी जिलेवार डेटा नहीं आया है। जल्द ही इसे जारी किया जाएगा।"

खाद्य एवं रसद मंत्री धुन्नी सिंह ने बताया, "पहले भी प्रदेश सरकार ने राशन कार्ड की धांधली पकड़ी है। हमारी सरकार प्रदेश में फर्जी राशन कार्ड की धांधली रोकने के प्रति सजग है। इससे सख्ती से निपटा जाएगा।"
 

 

आईएएनएस
लखनऊ


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