अगर सरकार को लगता है कि वांगचुक की गिरफ्तारी से लद्दाख में शांति बहाल होगी, तो वह गलत है: कांग्रेस

Last Updated 27 Sep 2025 03:16:42 PM IST

कांग्रेस की लद्दाख इकाई ने कहा कि अगर सरकार यह मानती है कि वांगचुक की गिरफ्तारी से क्षेत्र में शांति और सद्भाव बहाल करने में मदद मिलेगी, तो वह बड़ी भूल कर रही है।


कांग्रेस ने कहा कि अगर सरकार यह मानती है कि वांगचुक की गिरफ्तारी से क्षेत्र में शांति और सद्भाव बहाल करने में मदद मिलेगी, तो वह बड़ी भूल कर रही है।

वांगचुक को शुक्रवार को राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (एनएसए) के तहत हिरासत में लिया गया था और उन्हें राजस्थान की जोधपुर जेल में रखा गया है।

दो दिन पहले लद्दाख को पूर्ण राज्य का दर्जा देने और छठी अनुसूची में शामिल करने की मांग कर रहे लोगों का प्रदर्शन हिंसक हो गया था, और केंद्र शासित प्रदेश में व्यापक हिंसा फैल गई।

इन झड़पों में चार प्रदर्शनकारियों की मौत हो गई और 90 अन्य घायल हो गए।

कांग्रेस की लद्दाख इकाई के अध्यक्ष नवांग रिगजिन जोरा ने एक बयान में कहा, ‘‘कांग्रेस लोकप्रिय कार्यकर्ता की अनुचित गिरफ्तारी की कड़ी निंदा करती है। उनका एक ही दोष था कि उन्होंने लद्दाख को संविधान की छठी अनुसूची में शामिल करने के भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के चुनावी वादे के लिए उसे जवाबदेह ठहराया।’’

बयान में कहा, ‘‘वह ‘लेह एपेक्स बॉडी-करगिल डेमोक्रेटिक अलायंस’ की अन्य मांगों को उठाने में भी अहम भूमिका निभा रहे थे। इन मांगों में पूर्ण राज्य का दर्जा, लेह और करगिल के लिए अलग-अलग संसदीय सीटें और सरकारी नौकरियों में भर्ती शामिल हैं। भारत सरकार के आंकड़ों के अनुसार, लद्दाख में स्नातक स्तर पर बेरोजगारी की दर दूसरी सबसे अधिक है।’’

उन्होंने कहा कि वांगचुक ने महात्मा गांधी की राह पर चलते हुए पिछले पांच वर्षों में सत्याग्रह, अनशन और पदयात्राएं की हैं। वह लद्दाख आंदोलन का सबसे प्रमुख और मुखर चेहरा बन गए हैं और इसलिए केंद्र सरकार की आंखों में खटक रहे हैं।
 

भाषा
लेह


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