चर्च की जमीन बेचने के आरोपी बैपटिस्ट ट्रस्ट निदेशक का इस्तीफा

Last Updated 19 Jan 2022 04:30:09 AM IST

सिविल लाइन्स में चर्च की जमीन बेचने का खुलासा होने के बाद बैपटिस्ट चर्च ट्रस्ट एसोसिएशन में खलबली मच गई है।


चर्च की जमीन बेचने के आरोपी बैपटिस्ट ट्रस्ट निदेशक का इस्तीफा

मामले के मुख्य आरोपी और तथाकथित ड्रग्स माफिया ने एसोसिएशन के निदेशक पद से इस्तीफा दे दिया है। मौजूद दस्तावेजों के अनुसार हवाला और मनी लॉन्ड्रिंग के इस मामले में रिजर्व बैंक को भी गुमराह किया गया है। मामले में प्रधानमंत्री कार्यालय में हुई नामी कारोबारियों, बिल्डरों और भ्रष्ट निगम अफसरों की शिकायत के बाद जांच की तलवार भी सिर पर लटक गई है।

गौरतलब है कि आजादी से पहले अंग्रेजी हुकूमत ने बैपटिस्ट समुदाय के धार्मिंक और कल्याणकारी कार्यों के नाम पर बड़े स्तर पर भूमि अधिग्रहण किया था। आजादी के बाद इस संपत्ति को विदेशी स्वामित्व वाली भूमि घोषित कर दिया गया था। 1973 में विदेशी मुद्रा विनियमन अधिनियम लागू होने के बाद विदेशी स्वामित्व वाली जमीनों  की अवैध ख़्ारीद-फ़रोख्त रोकने के लिए रिजर्व बैंक ने एक अधिसूचना जारी की थी।

इसके तहत न केवल विदेशी स्वामित्व वाली संपत्तियों की जानकारी अनिवार्य तौर पर मुहैया कराई जानी थी बल्कि बिना अनुमति इनकी बिक्री भी अवैध थी। इसी अधिसूचना के तहत बैपटिस्ट चर्च ट्रस्ट और बैपटिस्ट चर्च ट्रस्ट एसोसिएशन को बैपटिस्ट संपत्तियों की देखभाल का लाइसेंस दिया गया था।

अधिसूचना के तहत देश में मौजूद विदेशी स्वामित्व वाली तमाम संपत्तियों की सूची भी मांगी गई थी। लेकिन बैपटिस्ट चर्च ट्रस्ट और बैपटिस्ट चर्च ट्रस्ट एसोसिएशन ने सिविल लाइन्स की किसी भी संपत्ति की जानकारी रिजर्व बैंक को नहीं दी।  इसमें राज निवास मार्ग स्थित संपत्ति संख्या 21ए भी शामिल है, जिसे वर्ष 2004 में बाजार भाव से करीब 54 करोड़ रु पए कम कीमत पर बेच एक मुखौटा कंपनी को बेच दिया गया था।

बाद में इस कंपनी का स्वामित्व चर्च की संपत्तियां बेचने के मुख्य आरोपी और तथाकथित ड्रग्स माफिया अशोक सोलोमन और उसके बेटों के पास आ गया था। बहरहाल संपत्ति संख्या 21 ए को खरीदने वालों में पुरानी दिल्ली का आभूषण कारोबारी रजत गुप्ता, दक्षिण अफ्रीका में कारखाने चलाने वाले कारोबारी जैन बंधु, व्यवसायी रोहित अग्रवाल और मशहूर बिल्डर परदेशी के अलावा नगर निगम भवन विभाग में तैनात रहे भ्रष्टाचार के आरोपी गुप्ता की पुत्रवधू और बेटे के अलावा वर्तमान में अधिशासी अभियंता गोयल भी शामिल हैं।

आरोप है कि इन संपत्तियों की खरीद-फरोख्त का मास्टर माइंड, नशीले पदाथरे की स्मगलिंग में अमेरिका की जेल में छह साल बंद रहा ड्रग्स माफिया अशोक सोलोमन है। ‘राष्ट्रीय सहारा’ में 25 दिसम्बर को हवाला और मनी लॉन्ड्रिंग के इस गोरखधंधे का खुलासा होने के बाद बैपटिस्ट चर्च ट्रस्ट और बैपटिस्ट चर्च ट्रस्ट एसोसिएशन में खलबली मच गई है। सूत्रों के अनुसार इस खुलासे के बाद कानूनी शिकंजे से बचने के लिए ड्रग्स माफिया सोलोमन ने बैपटिस्ट चर्च ट्रस्ट एसोसिएशन के निदेशक पद से इस्तीफ़ा दे दिया है।

हालांकि ऐसे दस्तावेज मौजूद हैं जिसमें साफ है कि चर्च की जमीन को बेचने का काम उसी के आदेश पर अंजाम दिया जाता था। लेकिन खरीद फरोख्त में शामिल कारोबारियों में बढ़ी बेचैनी के कारण उन्हें इसकी जानकारी नहीं दी गई है। यही वजह है कि एसोसिएशन की वेबसाइट में दर्ज पदाधिकारियों की सूची से ड्रग्स माफिया सोलोमन का नाम नहीं हटाया गया। वहीं, कारपोरेट कार्य मंत्रालय में बैपटिस्ट चर्च ट्रस्ट एसोसिएशन कंपनी के निदेशकों की सूची से अब सोलोमन का नाम शामिल नहीं है।

सुबोध जैन/सहारा न्यूज ब्यूरो
नई दिल्ली


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