बिहार को लेकर चिराग़ पासवान ने दिया चौंकाने वाला बयान

Last Updated 05 Apr 2023 04:20:53 PM IST

लोक जनशक्ति पार्टी के नेता और सांसद चिराग पासवान ने अपने एक बयान से सबको चौका दिया है। उन्होंने घोषणा कर दी है कि आगामी लोकसभा चुनाव में बिहार की सभी सीटों पर उनकी पार्टी चुनाव लड़ेगी। चिराग भाजपा और मोदी को छोड़कर महागठबंधन में शामिल सभी पार्टी के नेताओं के खिलाफ बयान देते रहे हैं। ऐसे में उनके बयान के मतलब कई तरह से निकाले जाएंगे।


लोक जनशक्ति पार्टी के नेता और सांसद चिराग पासवान

बिहार इस समय अखबारों और न्यूज़ चैनलों की सुर्खियां बना हुआ है। रामनवमी के अवसर पर हुए सांप्रदायिक दंगों के बाद वहां के हालात बिगड़े हुए हैं। हालांकि बिहार सरकार दावा कर रही है कि वहां सब कुछ सामान्य हो गया है, बावजूद इसके बिहार को लेकर खूब राजनीति हो रही है। विपक्ष यानी भाजपा नीतीश कुमार की कार्यशैली पर सवाल खड़ा कर रही है। इसी बीच एक चौकाने वाली  भी खबर आई है।

लोक जनशक्ति पार्टी के मुखिया चिराग पासवान ने ऐलान कर दिया है कि आगामी लोकसभा चुनाव में उनकी पार्टी बिहार लोकसभा की सभी 40 सीटों पर अपना प्रत्यासी उतारेगी। चिराग पासवान का यह बयान ऐसे वक्त में आया है जब भाजपा बिहार में एड़ी चोटी का जोर लगा रही है। चिराग पासवान के इस बयान का असर महागठबंधन पर भले ही ना पड़े। लेकिन यह खबर भाजपा को विचलित करने वाली है। चिराग पासवान  अगर 2024 में बिहार की सभी सीटों पर अपने कैंडिडेट उतारते हैं तो निश्चित तौर पर कुछ समीकरण बिगड़ेंगे। जिसका असर महागठबंधन और भाजपा दोनों पर ही पड़ेगा।

यहां बता दें कि जब से चिराग पासवान के चाचा पशुपति पारस अलग हुए हैं, तभी से चिराग पासवान बौखलाए हुए हैं। चिराग पासवान के पिता रामविलास पासवान द्वारा तैयार की गई राजनीतिक जमीन खिसक चुकी है। उस जमीन का बंटवारा हो चुका है। कुछ हिस्से पर उनके चाचा का कब्जा है तो कुछ पर दावेदारी चिराग पासवान कर रहे हैं। अगर चिराग पासवान अकेले ही बिहार के सभी सीटों पर अपने प्रत्याशी उतारते हैं तो इसका नुकसान भाजपा को ज्यादा होगा। अपने चाचा से अलग होने के बाद चिराग पासवान ने सबके खिलाफ हल्ला बोला था। समय-समय पर वह बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर भी किसी न किसी बहाने हमला करते रहे। जबकि चिराग पासवान भाजपा और मोदी के प्रति  हमेशा साथ होने का परिचय देते रहे। हमेशा मोदी की तारीफ करते रहे हैं। अपने आप को भाजपा का हनुमान बताते रहे। लेकिन अब हनुमान भाजपा को झटका देने की तैयारी में लग गया है।

 रामविलास पासवान बिहार में दलितों और पिछड़ों की राजनीति करते थे। खास करके दलित उनका कोर वोटर हुआ करता था। कुछ दिन पहले अमित शाह बिहार के दौरे पर थे। शायद चिराग पासवान यह उम्मीद कर रहे होंगे कि अपनी रैली के दौरान अमित शाह किसी न किसी बहाने चिराग पासवान का भी नाम लेंगे। लेकिन ऐसा हुआ नहीं। इसी बीच रामनवमी के अवसर पर जुलूस निकालने के दौरान सांप्रदायिक दंगे शुरू हो गए।

 दंगों को लेकर चिराग पासवान ने भले ही कुछ खास न बोला हो, लेकिन लोकसभा चुनाव को लेकर अपनी रणनीति की घोषणा कर दी। ऐसे में सवाल यह पैदा होता है कि क्या चिराग पासवान का भाजपा से अब मोहभंग हो गया या भाजपा पर वह दबाव बनाने की कोशिश कर रहे हैं। फिलहाल चिराग पासवान ने अपने पत्ते खोल दिए हैं। राजनीति में कोई किसी का न तो स्थाई दोस्त होता और न स्थाई दुश्मन। ऐसे में अगर लोकसभा चुनाव से पूर्व चिराग पासवान महागठबंधन में भी शामिल हो जाते हैं तो कोई आश्चर्य नहीं होना चाहिए।

शंकर जी विश्वकर्मा
नोएडा


Post You May Like..!!

Latest News

Entertainment