Weather Update: यूपी, हरियाणा और पंजाब सहित उत्तर भारत में छाया घना कोहरा, रेल-हवाई यातायात पर असर
उत्तर भारत में मंगलवार को गंगा के मैदानी इलाकों में कोहरे की मोटी चादर छाई रही। घने कोहरे से दृश्यता कम रही जिससे सड़क और रेल यातायात प्रभावित हुआ।
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उपग्रह से प्राप्त तस्वीरों में पंजाब से पूर्वोत्तर भारत तक के इलाकों में कोहरे की मोटी चादर फैली हुई दिखाई दी।
दिल्ली में शीत लहर जारी
दिल्ली में कोहरे की मोटी परत छाई रही और शहर मंगलवार की सुबह भी ठंड से जूझ रहा है और न्यूनतम तापमान 3.5 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जो औसत से चार डिग्री कम है।
चार दिनों से न्यूनतम तापमान 3 से 4 डिग्री सेल्सियस के आसपास बना हुआ है और बुधवार तक शीत लहर की स्थिति जारी रहने की संभावना है।
भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) के पूर्वानुमान के अनुसार, न्यूनतम तापमान 3 डिग्री सेल्सियस और अधिकतम तापमान 21 डिग्री के आसपास रह सकता है।
सुबह 7 बजे पालम हवाई अड्डे पर 100 मीटर और उसके आधे घंटे बाद 00 मीटर दृश्यता दर्ज की गई, जबकि सफदरजंग हवाई अड्डे पर 50 मीटर दृश्यता दर्ज की गई। आईएमडी ने बताया कि अगले तीन दिन तक उत्तर भारत में घने से बहुत घने कोहरे की स्थिति बनी रहने की आशंका है। विभाग ने बताया कि अगले दो दिन तक उत्तरी मैदानी इलाकों में शीत दिवस से गंभीर शीत दिवस की स्थिति बनी रहेगी।
आईएमडी के अनुसार, ‘‘देश के उत्तर पश्चिम क्षेत्रों में तीन दिनों तक शीत लहर से लेकर गंभीर शीत लहर की स्थिति जारी रहने की आशंका है।’’
आईएमडी ने बहुत घने कोहरे के लिए ऑरेंज अलर्ट भी जारी किया है, इससे हवाई और जमीनी यातायात भी प्रभावित हुआ है, इससे उड़ानों और ट्रेनों में कई देरी हुई है।
घने कोहरे के चलते नॉर्दन रेलवे की 30 ट्रेनें 1 घंटे से लेकर 6.30 घंटे तक लेट
घने कोहरे ने सड़क यातायात के साथ रेल मार्ग यातायात पर भी काफी असर डाला है। नॉर्दर्न रेलवे की करीब 30 ट्रेनें देरी से चल रही हैं। इन ट्रेनों के देरी से चलने के कारण इनमें सफर कर रहे यात्रियों को काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है।
रेलवे से मिली जानकारी के मुताबिक, 1 घंटे से लेकर 6:30 घंटे तक की देरी से ये ट्रेनें चल रही हैं।
दिल्ली क्षेत्र में 30 ट्रेनें हैं जो देरी से आ रही हैं। जिनमें रानीकमलापति-निज़ामुद्दीन वंदे भारत करीब 1.15 मिनट, भुवनेश्वर-नई दिल्ली राजधानी करीब 6 घंटे, हावड़ा-नई दिल्ली दुरंतो एक्सप्रेस करीब 6.30 घंटे, अजमेर-कटरा पूजा एक्सप्रेस करीब 6.30 घंटे देरी से चल रही हैं।
16 जनवरी को घने कोहरे के कारण देश के विभिन्न हिस्सों से दिल्ली आने वाली 30 ट्रेनें देरी से चल रही हैं। pic.twitter.com/9XHmZICXDC
— ANI_HindiNews (@AHindinews) January 16, 2024
इसी तरह कुछ दूसरी ट्रेनें भी देरी से चल रही हैं।
कोहरे और धुंध के चलते इन ट्रेनों में सफर करने वाले लोगों को काफी ज्यादा परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। रेलवे यह कोशिश करता है कि ट्रेनों का समय बिल्कुल ठीक रहे, लेकिन इस मौसम में कोहरे के सामने तकनीक भी बेसर दिखाई देती है।
यात्रियों के लिए एक एडवाइजरी भी जारी की गई है, इसमें कहा गया है, "जबकि दिल्ली हवाई अड्डे पर लैंडिंग और टेकऑफ़ जारी रहेगा, जो उड़ानें सीएटी थ्री के अनुरूप नहीं होंगी, वे प्रभावित हो सकती हैं। यात्रियों से अनुरोध है कि वे अद्यतन उड़ान जानकारी के लिए संबंधित एयरलाइन से संपर्क करें। किसी भी असुविधा के लिए गहरा खेद है।"
#WATCH दिल्ली: देश के कई हिस्सों में कोहरे के कारण कई उड़ाने देरी से चल रही है। एयरपोर्ट पर यात्री अपनी निर्धारित उड़ानों का इंतज़ार कर रहे हैं। वीडियो इंदिरा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे से है। pic.twitter.com/uEeIIaqexS
— ANI_HindiNews (@AHindinews) January 16, 2024
देश के उत्तर और पूर्वोत्तर क्षेत्र में बीते 15 दिनों में सुबह के दौरान कोहरे ने सड़क, रेल और हवाई यातायात को गंभीर रूप से प्रभावित किया है। दिल्ली हवाई अड्डे पर सोमवार को पांच उड़ानों का मार्ग बदला गया जबकि 100 से अधिक उड़ानों में देरी हुई।
नागर विमानन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने सोमवार को कहा था कि सभी हितधारक कोहरे से संबंधित बाधाओं को कम करने के लिए चौबीसों घंटे काम कर रहे हैं।
हवाई अड्डा संचालक डायल को सीएटी-3 सक्षम चौथे रनवे के परिचालन में तेजी लाने का निर्देश दिया गया है। जब कोई रनवे सीएटी-3 सक्षम होता है, तो कम दृश्यता की स्थिति में भी उड़ान संचालन हो सकता है।
भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने घने कोहरे के कारण कई स्थानों पर दृश्यता का स्तर शून्य मीटर तक पहुंच जाने के बीच लोगों को अनावश्यक यात्रा से बचने और वाहन चलाते समय सावधानी बरतने की सलाह दी है।
वहीं उत्तर भारत में सुबह साढ़े पांच बजे वाराणसी, आगरा, ग्वालियर, जम्मू, पठानकोट और चंडीगढ़ में दृश्यता का स्तर शून्य मीटर रहा जबकि गया में यह 20 मीटर दर्ज किया गया। प्रयागराज एवं तेजपुर में दृश्यता का स्तर 50 मीटर, अगरतला में 100 मीटर, अमृतसर में 200 मीटर और गोरखपुर में 300 मीटर रहा।
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