हाथरस कांड: हाथरस जाने से पहले हिरासत में लिए गए राहुल और प्रियंका गांधी

Last Updated 01 Oct 2020 10:34:16 AM IST

यूपी के हाथरस में गैंगरेप का शिकार हुई युवती के परिवार से मिलने गुरुवार को हाथरस जा रहे कांग्रेस नेता राहुल गांधी को पुलिस ने यमुना एक्सप्रेस-वे पर गिरफ्तार कर लिया है। इस दौरान यहां पुलिस ने राहुल गांधी को जमीन पर धकेल दिया।


राहुल गांधी अपनी बहन प्रियंका गांधी वाड्रा और दूसरे नेताओं के साथ गुरुवार सुबह हाथरस के लिए रवाना हुए थे। लेकिन यमुना एक्सप्रेस-वे पर पहुंचते ही इनके वाहनों को पुलिस ने रोक दिया।

घटनास्थल से मिले वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि पुलिस ने राहुल गांधी और प्रियंका गांधी को धक्का दिया जिससे राहुल गांधी जमीन पर गिर गए।



बाद में राहुल गांधी ने मीडिया से कहा, अभी-अभी पुलिस ने मुझे धक्का दिया, मुझ पर लाठीचार्ज किया और मुझे जमीन पर फेंक दिया। मैं पूछना चाहता हूं, क्या इस देश में केवल (नरेंद्र) मोदीजी ही चल सकते हैं? क्या कोई सामान्य व्यक्ति नहीं चल सकता? हमारा वाहन रोक दिया, तो हमने चलना शुरू कर दिया।

उत्तर प्रदेश पुलिस ने राहुल गांधी को कहा कि उन्हें गिरफ्तार किया जा रहा है क्योंकि वह एक ऐसे क्षेत्र में मार्च कर रहे थे जहां धारा 144 लगाई गई है।

राहुल गांधी ने कहा कि भले ही धारा 144 लगा दी गई हो, वह दुष्कर्म पीड़िता के परिवार से मिलने के लिए अकेले हाथरस की ओर जाएंगे। उसके बाद पुलिस और कांग्रेस नेताओं में तीखी बहस होने लगी।

अतिरिक्त डीसीपी गौतमबुद्धनगर, रणविजय सिंह ने कहा कि राहुल गांधी को गिरफ्तार किया गया है और उन्हें आगे जाने की अनुमति नहीं दी जाएगी क्योंकि पुलिस के पास डीएम हाथरस का एक पत्र है जिसमें कहा गया है कि यदि राहुल गांधी वहां जाते हैं, तो यह कानून तोड़ सकते हैं।

इससे पहले गुरुवार सुबह से दिल्ली के डीएनडी पर इस बात की अफवाह थी कि उन्हें डीएनडी बॉर्डर पार नहीं करने दिया जाएगा। लेकिन, राहुल गांधी, प्रियंका गांधी और कांग्रेस के अन्य नेता डीएनडी बॉर्डर को पार कर हाथरस के लिए रवाना हो गए थे।

डीएनडी से आगे यमुना एक्सप्रेस-वे पर जाते ही राहुल गांधी को गिरफ्तार कर लिया गया।

इससे पहले उत्तर प्रदेश-दिल्ली सीमा के निकट डीएनडी पर कांग्रेस के कई नेता और कार्यकर्ता जमा हुए और उत्तर प्रदेश सरकार के खिलाफ नारेबाजी की।      

 

पुलिस द्वारा रोके जाने के बाद राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि प्रदेश में जंगलराज का यह आलम है कि शोक में डूबे एक परिवार से मिलना भी सरकार को डरा देता है। उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, दुख की घड़ी में अपनों को अकेला नहीं छोड़ा जाता। उप्र में जंगलराज का ये आलम है कि शोक में डूबे एक परिवार से मिलना भी सरकार को डरा देता है। इतना मत डरो, मुख्यमंत्री महोदय!’’    

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने उत्तर प्रदेश में हाथरस के बाद बलरामपुर में सामूहिक बलात्कार की घटना होने को लेकर गुरूवार को प्रदेश सरकार पर निशाना साधा और दावा किया कि भाजपा का नारा ‘बेटी बचाओ’ नहीं, ‘तथ्य छुपाओ, सत्ता बचाओ’ है।



उन्होंने 19 साल की पीड़िता के दाह संस्कार की एक समाचार रिपोर्ट को टैग करते हुए ट्वीट किया, "दलितों पर अत्याचार करना एक शर्मनाक कदम है। हमारी लड़ाई इस घृणित सोच के खिलाफ है।"

 

प्रियंका ने आरोप लगाया कि उन्हें और राहुल गांधी को हाथरस जाने से रोकने के लिए पुलिस ने लाठियां चलाईं, लेकिन ‘अहंकारी सरकार’ की लाठियां उन्हें रोक नहीं सकतीं। उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘हाथरस जाने से हमें रोका। राहुल जी के साथ हम सब पैदल निकले तो बार-बार हमें रोका गया, बर्बर ढंग से लाठियां चलाईं। कई कार्यकर्ता घायल हैं। मगर हमारा इरादा पक्का है। एक अहंकारी सरकार की लाठियां हमें रोक नहीं सकतीं। काश, यही लाठियां, यही पुलिस हाथरस की दलित बेटी की रक्षा में खड़ी होती।’’   

इससे पहले उन्होंने संवाददाताओं से कहा, ‘‘उत्तर प्रदेश में महिलाओं पर अत्याचार हो रहा है। बहन-बेटियां सुरक्षित नहीं हैं। उत्तर प्रदेश में जंगलराज है।’’    

उन्होंने कहा, ‘‘मुख्यमंत्री को जिम्मेदारी लेनी चाहिये और अपराधियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिये। उत्तर प्रदेश में बहनों को न्याय नहीं मिलता। यह कोई पहली बार नहीं है। आपको याद होगा कि पिछले साल भी इसी वक्त हम उन्नाव की बेटी की लड़ाई लड़ रहे थे।’’    

प्रियंका ने दावा किया कि जब तक सरकार को झकझोरा और जगाया नहीं जाएगा तब तक वह महिला सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए कुछ नहीं करने वाली है।    

कांग्रेस की उत्तर प्रदेश प्रभारी ने कहा कि यह घटना (हाथरस सामूहिक बलात्कार) बहुत अन्यायपूर्ण थी और उसके बाद सरकार ने शव के अंतिम संस्कार में जो किया वह तो और भी बड़ा अपमान था।    

कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने ट्वीट किया, ‘‘उप्र में एक और दलित बेटी के साथ गैंग रेप ! सोच कर भी रूह कांपती है - अनाचार, वहशियों ने दोनों पांव और कमर तोड़ डाली ! क्या क़ानून है या मर गया? क्या सविंधान की सरकार है या अपराधियों की? कब रुकेगी ये दरिंदगी? क्यों इस्तीफ़ा नही देते आदित्यनाथ?’’

इस बीच, राज्य सरकार के प्रवक्ता कैबिनेट मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने राहुल और प्रियंका पर निशाना साधते हुए कहा, ‘‘ये जो भाई-बहन दिल्ली से चले हैं, उन्हें राजस्थान जाना चाहिये था। जहां भी ऐसी घटना होती है, वह जघन्य अपराध होता है।

राजस्थान में भी वारदात हुई थी, मगर कांग्रेस हाथरस की घटना पर गंदी राजनीति कर रही है।’’ 

उधर, हाथरस जिलाधिकारी पी.के. लक्षकार ने बताया कि जिले में सीआरपीसी की धारा 144 के तहत निषेधाज्ञा लागू कर दी गयी है जो आगामी 31 अक्टूबर तक प्रभावी रहेगी। जिले की सभी सीमाएं सील कर दी गयी हैं।  उन्होंने सभी से जिले में शांति व्यवस्था बनाए रखने की अपील की है।    

गौरतलब है कि गत 14 सितंबर को हाथरस जिले के चंदपा थाना क्षेत्र स्थित एक गांव की रहने वाली 19 वर्षीय दलित लड़की से कथित तौर पर सामूहिक बलात्कार किया गया था। लड़की को रीढ की हड्डी में चोट और जीभ कटने की वजह से पहले अलीगढ के जवाहरलाल नेहरू मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया था। उसके बाद उसे दिल्ली स्थित सफदरजंग अस्पताल ले जाया गया था, जहां मंगलवार तड़के उसकी मौत हो गई थी।    

इस घटना को लेकर देश भर में जगह-जगह प्रदर्शन किये गये। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसका संज्ञान लेते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को फोन कर इस मामले में कड़ी कार्रवाई करने को कहा था। राज्य सरकार ने इस मामले की जांच के लिये बुधवार को तीन सदस्यीय विशेष जांच दल गठित किया है। इसे सात दिन में रिपोर्ट देने को कहा गया है। 

 

भाषा/आईएएनएस
नई दिल्ली/लखनऊ


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