कांग्रेस नेता की टिप्पणी को लेकर राज्यसभा में हंगामा

Last Updated 13 Dec 2019 12:11:39 PM IST

कांग्रेस के एक शीर्ष नेता की कथित टिप्पणी को लेकर सत्ता पक्ष के सदस्यों के हंगामे के कारण शुक्रवार को राज्यसभा की कार्यवाही करीब साढे ग्यारह बजे आधे घंटे के लिए स्थगित कर दी गई ।


सदन की बैठक शुरू होने पर सभापति एम वेंकैया नायडू ने आवश्यक दस्तावेज सदन के पटल पर रखवाए। उन्होंने सदन को सूचित किया कि भाकपा के विनय विम और आनंद शर्मा सहित कुछ सदस्यों ने अपने अपने मुद्दों पर चर्चा के लिए नियम 267 के तहत कामकाज स्थगित करने की खातिर नोटिस दिए हैं।

नायडू ने कहा कि उन्होंने इन नोटिसों को अस्वीकार कर दिया है लेकिन वह सदस्यों को शून्यकाल के तहत ये मुद्दे उठाने की अनुमति देंगे।  

सभापति ने कांग्रेस की अंबिका सोनी को और फिर इसी पार्टी के आनंद शर्मा को अपनी बात कहने की अनुमति दी। इसके बाद सभापति ने शून्यकाल के तहत मुद्दा उठाने के लिए भाकपा के विनय विम को पुकारा। इसी दौरान मनोनीत सदस्य सोनल मान सिंह और भाजपा के कुछ सदस्य अपने स्थानों पर खड़े हो कर कुछ कहने लगे। 

सभापति नायडू ने पहले तो विनय विम को अपनी बात कहने के लिए कहा। लेकिन हंगामा बढने पर उन्होंने सोनल मान सिंह से पूछा कि आखिर मुद्दा क्या है।

उनकी अनुमति से सोनल मान सिंह ने कहा कि कांग्रेस पार्टी के एक वरिष्ठ नेता ने एक आपत्तिजनक टिप्पणी की है।

सोनल की इस बात पर कांग्रेस के सदस्यों ने आपत्ति जताई वहीं भाजपा के सदस्य कांग्रेस नेता से, कथित टिप्पणी के लिए माफी की मांग करते हुए अपने स्थानों से आगे आ गए। सभापति ने कहा ‘‘दूसरे सदन के सदस्य का नाम इस सदन में नहीं लिया जाना चाहिए।’’        

सभापति नायडू ने उनसे अपने स्थानों पर लौट जाने और शून्यकाल चलने देने की अपील करते हुए कहा ‘‘आपने अपना मुद्दा उठाया। मैंने आपकी बात सुनी। अब आप शून्यकाल चलने दें। आज सत्र का आखिरी दिन है और आज कार्यवाही बाधित नहीं की जानी चाहिए।’’        

नायडू ने कहा कि कुछ भी रिकॉर्ड में नहीं जाएगा। उन्होंने भाकपा सदस्य विनय विम से अपना मुद्दा उठाने के लिए कहा। विम ने बोलना शुरू किया लेकिन हंगामे के कारण उनकी बात सुनी नहीं जा सकी।  

इसी दौरान भाजपा के भूपेंद्र यादव ने कुछ कहना चाहा। लेकिन सभापति ने कहा कि शून्यकाल के लिए सूचीबद्ध सदस्यों के अलावा वह किसी को भी बोलने की अनुमति नहीं देंगे। उन्होंने अपने स्थान पर खड़ीं सोनल मान सिंह से कहा कि वह सदन की बैठक स्थगित होने के बाद उनके कक्ष में आ कर उनसे मिलें।

सभापति ने हंगामा कर रहे सदस्यों से शांत होने और शून्यकाल चलने देने की अपील करते हुए कहा कि हंगामा नहीं थमने पर बैठक स्थगित करने के अलावा उनके पास दूसरा कोई विकल्प नहीं होगा।        

अपनी बात का असर होते न देख सभापति ने 11 बज कर करीब तीस मिनट पर बैठक दोपहर बारह बजे तक के लिए स्थगित कर दी। इससे पहले, बैठक शुरू होने पर सभापति ने संसद पर 2001 में हुए आतंकी हमले की 18वीं बरसी का जिक्र किया और हमले में जान गंवाने वाले नौ लोगों को सदन में श्रद्धांजलि दी गई।    

सभापति ने यह भी बताया कि भाजपा सदस्य चुन्नीभाई कांजीभाई गोहिल ने स्वास्थ्य संबंधी कारणों का हवाला देते हुए राज्यसभा के इस सत्र से अवकाश का अनुरोध किया है। सदन की अनुमति से उन्होंने सदस्य को अवकाश की मंजूरी दे दी।

 

भाषा
नयी दिल्ली


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