Miss Universe 2018: फिलीपींस की कैटरिओना इलिसा ग्रे के सिर सजा ताज, टॉप 20 तक भी नहीं पहुंचा भारत

Last Updated 17 Dec 2018 03:41:52 PM IST

फिलीपीन्स की कैटरिओना ग्रे ने 2018 के ‘मिस यूनिवर्स’ का खिताब अपने नाम कर लिया है।


फिलीपीन्स की कैटरिओना ग्रे बनी ‘मिस यूनिवर्स’

सोमवार को बैंकॉक में सम्पन्न हुए कार्यक्रम में 67वीं ‘मिस यूनिवर्स’ बनने के लिए उन्होंने 93 देशों की सुंदरियों को मात दी।

वहीं दक्षिण अफ्रीका की टैमरिन ग्रीन फर्स्ट रनर-अप रहीं, जो एक मेडिकल छात्रा हैं और वेनेजुएला की पेशे से वकील शेफनी गुटेरेज दूसरी रनर अप रहीं। वहीं स्पेन की एंजेला पोंस ने पहली महिला ट्रांसजेंडर के तौर पर मिस यूनीवर्स प्रतियोगिता में भाग लेकर इतिहास रच दिया।

प्रतियोगिता के अंतिम दौर में ग्रे से जीवन में सीखे सबसे महत्वपूर्ण पाठ और वह इसे मिस यूनीवर्स बनने के बाद कैसे इस्तेमाल करेंगी इस बारे में पूछा गया था। इस पर उन्होंने कहा, "मैंने मनीला की झुग्गी-बस्तियों के लिए बहुत काम किया है और वहां जिंदगी बेहद गमगीन है। मैंने हमेशा खुद को उनकी खूबसूरती देखना सिखाया, बच्चों के चेहरों की खूबसूरती देखना सिखाया और मैं मिस यूनीवर्स के रूप में इस पहलू का इस्तेमाल करते हुए ऐसी परिरिस्थितियों को देखूंगी जहां मैं अपना योगदान दे सकूं।"

ग्रे ने बताया कि उन्होंने लाल पोशाक इसलिए पहनी ‘‘क्योंकि जब मैं 13 साल की थी तो मेरी मां ने कहा था कि उनका सपना है कि मैं लाल पोशाक में प्रतियोगिता में जीत हासिल करूं।’’

ग्रे मॉडल होने के साथ ही एक गायिका भी हैं। उन्होंने बताया कि प्रतियोगिता जीतने के बाद जब उन्होंने एक दूसरे को देखा तो उनकी मां रोने लगीं।

 

दक्षिण अफ्रीका की टैमरन ग्रीन दूसरे और वेनेजुएला की स्टेफनी गुतीरेज तीसरे नंबर पर रहीं।

ग्रे के पिता ऑस्ट्रेलियाई मूल के हैं और उनका पालन पोषण केर्न्‍स (ऑस्ट्रेलिया) में हुआ है। ग्रे यह खिताब जीतने वाली चौथी फिलीपीन्स महिला हैं।

राष्ट्रपति रोड्रिगो दुतेत्रे के कार्यालय ने भी उन्हें बधाई थी। भारत की नेहल चुडासमा शीर्ष 20 तक में जगह नहीं बना पाई थीं। इस साल प्रतियोगिता की थीम ‘‘महिला सशक्तिकरण’’ थी।     
भारत की नेहल चुड़ासमा मिस यूनीवर्स 2018 प्रतियोगिता में शीर्ष 20 तक भी नहीं पहुंच पाईं जबकि फिलीपींस की कैटरिओना ग्रे 93 प्रतियोगियों को पछाड़कर विश्व सुंदरी बन गईं। भारत को 22 वर्षीय नेहल से काफी उम्मीदें थी कि वह यह ताज जीतकर देश के लिए लंबे समय से चले आ रहे सूखे को समाप्त करेंगी। इससे पहले लारा दत्ता ने वर्ष 2000 में देश को यह गौरव प्राप्त कराया था।

एजेंसियां
बैंकॉक


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