एकजुट विपक्ष का 'INDIA' नाम राहुल गांधी ने सुझाया

Last Updated 18 Jul 2023 08:57:38 PM IST

कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने मंगलवार को कहा कि विपक्षी दलों ने अपने गठबंधन को एक नया नाम देने का फैसला किया है, जिसे 'इंडियन नेशनल डेमोक्रेटिक इन्‍क्लूसिव एलायंस' (आईएनडीआईए) यानी इंडिया नाम से जाना जाएगा। इसका मतलब है भारतीय राष्ट्रीय विकासात्मक समावेशी गठबंधन। पार्टी सूत्रों ने कहा कि यह नाम पूर्व कांग्रेस प्रमुख राहुल गांधी ने दिया।


एकजुट विपक्ष का 'INDIA' नाम राहुल गांधी ने सुझाया

पार्टी सूत्रों के मुताबिक, विपक्षी दलों की बैठक के दौरान राहुल गांधी ने विपक्षी गठबंधन का नाम 'इंडिया' रखा।

सूत्र ने बताया कि पूर्व लोकसभा सांसद ने कहा कि यह गठबंधन देश के लिए है और हम किसके लिए लड़ रहे हैं और किन लोगों पर हमला किया जा रहा है।

सूत्र ने बताया कि राहुल गांधी ने बैठक के दौरान यह भी कहा कि संविधान, लोकतंत्र, स्वतंत्रता, संस्थाओं और लोगों पर हमला किया जा रहा है।

सूत्र ने यह भी कहा कि दिल्ली के मुख्यमंत्री और आप नेता अरविंद केजरीवाल सबसे पहले राहुल गांधी द्वारा सुझाए गए नाम का समर्थन करने वाले थे और फिर सभी ने इसका समर्थन किया।

बैठक के बाद संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस में मीडिया को संबोधित करते हुए राहुल गांधी ने कहा, ''आज भाजपा की विचारधारा द्वारा भारत के विचार पर हमला किया जा रहा है। भारत की संपत्ति करोड़ों भारतीयों से छीनकर उन चंद लोगों को सौंपी जा रही है जो प्रधानमंत्री के करीबी हैं। बेरोज़गारी फैल रही है, कीमतें बढ़ रही हैं और हमारी लड़ाई इसी को लेकर है।"

उन्होंने कहा, "यह दो विचारों की लड़ाई है। जब हम चर्चा कर रहे थे तो यह नाम चर्चा से उभरा, क्योंकि हमने खुद से पूछा कि लड़ाई क्या है और किसके बीच लड़ाई है, और हमें एहसास हुआ कि लड़ाई दो संरचनाओं के बीच नहीं है, बल्कि लड़ाई बचाव के लिए है। भारत का विचार और इसीलिए हम भारतीय राष्ट्रीय विकासात्मक समावेशी गठबंधन नाम लेकर आए, जो भारत के रूप में भी होता है।"

उन्होंने कहा, "हम यहां एक समूह के रूप में जो कर रहे हैं, हम भारतीय संविधान, लोगों की आवाज, देश और भारत के विचार की रक्षा कर रहे हैं।"

राहुल गांधी ने बेंगलुरु से 2024 के लोकसभा चुनाव का बिगुल बजाते हुए कहा, "आप जानते हैं कि उन लोगों का क्या होता है जो भारत के विचार का विरोध करते हैं या उससे लड़ने की कोशिश करते हैं। इतिहास पर नजर डालें तो पता चलेगा कि भारत के विचार से कोई नहीं लड़ पाया। मुझे इसमें जाने की जरूरत नहीं है कि यह लड़ाई कौन जीतेगा। यह इंडिया के विचार और भाजपा के विचार के बीच की लड़ाई है।"

आईएएनएस
बेंगलुरु


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