सुप्रीम कोर्ट ने नीतीश कटारा हत्याकांड में दोषी विकास यादव की बीमार मां के इलाज के मद्देनजर सोमवार को नीतीश कटारा हत्याकांड में दोषी यादव की अंतरिम जमानत चार सप्ताह और बढ़ा दी।

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यादव 2002 के नीतीश कटारा हत्याकांड में 25 साल जेल की सजा काट रहा है।
न्यायमूर्ति अभय एस. ओका और न्यायमूर्ति उज्जल भुइयां की पीठ ने उसे 27 मई तक एक दस्तावेज दाखिल करने का निर्देश दिया, जिससे पता चले कि उसकी मां की सर्जरी हुई है।
शीर्ष अदालत ने 24 अप्रैल को शर्तें लगाते हुए दोषी को गाजियाबाद में अपने घर तक ही सीमित रहने का निर्देश दिया।
शीर्ष अदालत ने उसे एक लाख रुपये की जमानत और इतनी ही राशि के मुचलके पर यह राहत प्रदान की।
विकास उत्तर प्रदेश के ने डी.पी. यादव का बेटा है। उसके चचेरे भाई विशाल यादव को भी कटारा के अपहरण और हत्या के लिए सजा सुनाई गई थी।
दोनों ही विकास की बहन भारती यादव से कटारा के कथित तौर पर संबंध होने के खिलाफ थे, क्योंकि दोनों अलग-अलग जातियों से ताल्लुक रखते थे।
एक अन्य सह-दोषी सुखदेव पहलवान को बिना किसी छूट के 20 साल की जेल की सजा सुनाई गई।
दिल्ली उच्च न्यायालय ने विकास और विशाल यादव को निचली अदालत द्वारा सुनाई गई आजीवन कारावास की सजा को बरकरार रखा था। अधीनस्थ अदालत ने पहले दोनों को बिना किसी छूट के 30 साल की सजा सुनाई थी।
हालांकि उच्च न्यायालय ने पहलवान को 25 साल की जेल की सजा सुनाई।
दिल्ली जेल प्रशासन ने पिछले साल यादव के आचरण को असंतोषजनक पाए जाने के बाद उसकी सजा से छूट के अनुरोध को खारिज कर दिया था।
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