संसद का मानसून सत्र आज से, सरकार चर्चा को विपक्ष हंगामे को तैयार

Last Updated 20 Jul 2023 08:17:58 AM IST

17वीं लोकसभा पांचवें वर्ष में प्रवेश कर रही है। इस सत्र से आगामी लोकसभा और चार विधानसभाओं के चुनाव के लिए नरेटिव सेट करने के लिए सत्तापक्ष और विपक्ष ने कमर कस ली है।


संसद भवन

विपक्ष ने पिछले सत्रों की तरह इस बार भी अडाणी और महंगाई के अलावा मणिपुर हिंसा का मुद्दा उठाने के लिए रणनीति बना ली है। वहीं सरकार ने विपक्षी प्रहारों को निष्प्रभावी बनाने की रणनीति बनाई है।

विपक्ष ने संघीय ढांचे को नुकसान पंहुचाने, केंद्रीय एजेंसियों के दुरुपयोग करने, मणिपुर हिंसा, महंगाई, बेरोजगारी, अडानी मुद्दा उठाने का फैसला किया है। कांग्रेस ने पहले ही दिन काम रोको नोटिस देने का फैसला किया है। सरकार ने कहा कि नियमों के तहत मिले नोटिस पर सरकार चर्चा कराने को तैयार है।

संसद के मानसून सत्र की शुरुआत 20 जुलाई को होगी, जो सत्र 11 अगस्त तक चलेगी। इस दौरान संसद के दोनों सदनों की कुल 17 बैठकें प्रस्तावित हैं।

इस सत्र में इंडिया नाम से बना संयुक्त विपक्ष का गठबंधन अपनी शक्ति दिखाने की कोशिश करेगा, तो 38 दलों का गठबंधन एनडीए भी अपनी मजबूत उपस्थिति का एहसास करेगा। दोनों दल आगामी चुनावों को ध्यान में रखकर आरोप-प्रत्यारोप लगाएंगे।

मानसून सत्र से पहले आज संसद भवन परिसर में रक्षामंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में सर्वदलीय बैठक हुई, जिसमें 34 दलों के 44 नेताओं ने हिस्सा लिया।

सरकार की बैठक के बाद संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कहा कि मणिपुर की स्थिति के बारे में चर्चा कराने की विभिन्न दलों की मांग पर सरकार को कोई आपत्ति नहीं है तथा आसन की अनुमति एवं संबंधित नियमों के तहत सदन में इस विषय पर चर्चा कराई जा सकती है।

लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा, बैठक में हमने संसद के मानसून सत्र के दौरान मणिपुर की स्थिति पर चर्चा कराने की मांग की। उन्होंने कहा, हमारी मांग है कि प्रधानमंत्री सदन में आएं और मणिपुर की स्थिति पर चर्चा हो।

उन्होंने कहा कि वह इस मुद्दे पर कार्यस्थगन प्रस्ताव लाएंगे। उन्होंने कहा दो महीने गुजर गए लेकिन प्रधानमंत्री चुप हैं। मैं उनसे आग्रह करना चाहता हूं कि उन्हें संसद में बयान देना चाहिए और चर्चा करानी चाहिए।

समयलाइव डेस्क
नई दिल्ली


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