Twitter के पूर्व CEO डॉर्सी के बयान पर सियासी घमासान, विपक्ष ने घेरा; केंद्र सरकार बोली- सरासर झूठ
ट्विटर के पूर्व सीईओ जैक डोर्सी ने दावा किया है कि भारत सरकार की तरफ से उन पर दबाव बनाया गया और देश में ट्विटर को बंद करने तथा कर्मचारियों के घरों पर छापेमारी की भी धमकी मिली।
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ट्विटर के पूर्व सीईओ जैक डोर्सी के दावे कि उन्हें अपने दफ्तर बंद करने या कर्मचारियों के घरों पर छापा मारने की धमकी दी गई थी, विपक्षी दलों ने मंगलवार को भाजपा पर जमकर हमला बोला।
केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स एवं आईटी राज्य मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने कहा कि यह ट्विटर के इतिहास के उस बहुत ही संदिग्ध दौर को मिटाने का प्रयास है।
दिग्गज नेता और राज्यसभा सांसद कपिल सिब्बल ने ट्विटर पर सरकार की आलोचना करते हुए कहा, ट्विटर के पूर्व सीईओ जैक डोर्सी ने कहा: किसानों के विरोध के दौरान भाजपा सरकार ने धमकी दी थी। ट्विटर-इंडिया कार्यालयों को बंद करने की धमकी दी। ट्विटर-इंडिया के कर्मचारियों के घरों पर छापा मारने की धमकी दी। मंत्री (राजीव चंद्रशेखर) इनकार करते हैं। कुछ के पास झूठ बोलने का कोई कारण नहीं होता है। दूसरों के पास झूठ बोलने का हर कारण होता है।
शिवसेना की राज्यसभा सांसद प्रियंका चतुर्वेदी ने भी भाजपा सरकार पर पलटवार किया और कहा, एलन मस्क कहते हैं, भारत में सोशल मीडिया के नियम काफी सख्त हैं। वो कर्मचारियों को जेल या कानून के अनुपालन में से अनुपालन को चुनेंगे। इसलिए हर कोई कह रहा है कि डोर्सी ने जो कहा वह गलत है, कृपया शांत हो जाएं।
उन्होंने मस्क के दावों की एक समाचार रिपोर्ट का लिंक भी संलग्न किया।
एक अन्य ट्वीट में, चतुवेर्दी ने कहा, 'डोर्सी और उनकी टीम के तहत ट्विटर भारत के कानून का बार-बार और लगातार उल्लंघन कर रहा था' ऐसा मंत्री कहते हैं। हां, उन्होंने जो कानून तोड़ा वह हेट स्पीच और भाजपा के एजेंडे को अनुमति देने के लिए था। लेकिन जो उनके एजेंडे का समर्थन करता है, उस पर कार्रवाई नहीं। जब लोगों और विपक्ष ने ट्विटर का उपयोग करना शुरू किया, तो सरकार ने कार्रवाई शुरू कर दी! तो कृपया, इस उपदेश को अपने पास रखें।
विपक्षी नेताओं की यह टिप्पणी एक इंटरव्यू के दौरान डोर्सी के बयान के बाद आई है। यह पूछे जाने पर कि क्या उन्हें विदेशी सरकारों के किसी दबाव का सामना करना पड़ा था? डोर्सी, जिन्होंने पिछले साल ट्विटर के बोर्ड से इस्तीफा दे दिया था, ने कहा, उदाहरण के लिए, भारत उन देशों में से है, जिसने किसानों के विरोध के बारे में कई अनुरोध किए, विशेष पत्रकारों के बारे में जो आलोचनात्मक थे। और फिर यह प्रतिक्रिया आई 'हम भारत में ट्विटर को बंद कर देंगे' .. हम आपके कर्मचारियों के घरों पर छापा मारेंगे', जो उन्होंने किया; 'यदि आप अनुसरण नहीं करते हैं तो हम आपके कार्यालयों को बंद कर देंगे'। और यह भारत है, एक लोकतांत्रिक देश।
कांग्रेस महासचिव रणदीप सिंह सुरजेवाला ने एक ट्वीट में कहा, मोदी सरकार ने किसानों और किसान आंदोलन के दौरान अकाउंट्स को बंद करने के लिए ट्विटर को मजबूर किया, सरकार या ट्विटर की आलोचना करने वाले पत्रकारों के अकाउंट को बंद करने का दवाब बनाया और कंपनी के कर्मचारियों के घरों पर छापेमारी की धमकी दी। यह बात ट्विटर के सह संस्थापक और पूर्व सीईओ जैक डॉर्सी ने एक टीवी इंटरव्यू में मानी है। क्या, जवाब देगी मोदी सरकार?
Modi Govt. forced twitter to
— Randeep Singh Surjewala (@rssurjewala) June 13, 2023
Shut down accounts of Farmers & Farmer’s movement,
Shut down accounts of journalists critical of Govt,
OR
Twitter and its employees would be raided.
This is what Twitter Co Founder and Ex CEO Jack Dorsey admits in a TV… pic.twitter.com/OmpSHl8RlI
कांग्रेस प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने संवाददाताओं से कहा, "जब किसान दिल्ली के आसपास धरने पर बैठे थे तो उस वक्त न सिर्फ उन्हें खालिस्तानी, पाकिस्तानी और आतंकवादी कहा जा रहा था, बल्कि ट्विटर को भी धमकी दी जा रही थी कि इन लोगों की आवाज को जगह नहीं दी जाए। "
उन्होंने कहा, "किसान आंदोलन के समय भाजपा की ओर से एक तथाकथित टूलकिट जारी किया गया था और आरोप लगाया गया था कि कांग्रेस टूलकिट का इस्तेमाल कर रही है। लेकिन आज उसके बारे में असलियत सामने आ रही है। ट्विटर के दफ्तरों पर छापा मारा गया था। अब समझ में आ रहा है कि यह सब किसान आंदोलन को दबाने के लिए किया गया था। "
सुप्रिया ने आरोप लगाया कि राहुल गांधी के ट्विटर अकाउंट पर सरकार के कहने पर छह महीनों तक रोक लगाई गई थी।
उन्होंने दावा किया, "ये जो तथ्य सामने आ रहे हैं वह वाकई में भयावह हैं, डरावने हैं। स्पष्ट है कि देश के प्रधानमंत्री और सरकार डरती है.. जब भी सरकार को आईना दिखाया जाता है तो अंतरराष्ट्रीय साजिश की बात की जाती है।"
सुप्रिया ने सवाल किया, ''आज जैक डोर्सी को झूठ बोलने की क्या जरूरत है? झूठ बोलने से उनको क्या मिलेगा?'' उन्होंने कहा, "राहुल गांधी कहते हैं कि देश के लोकतंत्र को कमजोर किया जा रहा है। डोर्सी की टिप्पणी से यह बात फिर प्रमाणित हो जाती है।"
सुप्रिया ने कहा कि पत्रकारों, मीडिया और सोशल मीडिया मंचों को धमकाने का सिलसिला बंद होना चाहिए।
कांग्रेस ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल से ट्वीट किया, "जब हमारे किसान अपने हक के लिए दिल्ली की सीमाओं पर बैठे थे। जब वे सर्दी, गर्मी, बरसात झेलते हुए अपने प्राण त्याग रहे थे। तब एक तानाशाह उनकी खबर को दबाने में लगा था।"
यूथ कांग्रेस और नेशनल स्टूडेंट्स यूनियन ऑफ इंडिया ने भी ट्विटर पर डॉर्सी के दावे की उस क्लिप को साझा किया, जो उन्होंने सोमवार को यूट्यूब चैनल ब्रेकिंग पॉइंट्स को दिए एक इंटरव्यू के दौरान किए थे।
एनएसयूआई के अध्यक्ष नीरज कुंदन ने एक ट्वीट में कहा, 'भाजपा लोकतंत्र की हत्यारी है, यह बार-बार साबित हो रहा है। ये हैं ट्विटर के पूर्व सीईओ जैक डॉर्सी। वह कह रहे हैं 'किसान विरोध के दौरान भारत सरकार ने हम पर दबाव बनाया और कहा कि हम ट्विटर बंद कर देंगे। अगर नियमों का पालन नहीं करते, तो आपके कर्मचारियों के घरों पर छापा मारेंगे।'
यूथ कांग्रेस के प्रमुख श्रीनिवास बी.वी. ने सरकार पर कटाक्ष करते हुए विरोध में जैक डॉर्सी की संबंधित बयान वाली क्लिप साझा की।
दरअसल यूट्यूब चैनल ब्रेकिंग पॉइंट्स के साथ सोमवार देर रात एक इंटरव्यू के दौरान, डॉर्सी ने कहा कि धमकियां तब मिलनी शुरू हुई, जब ट्विटर ने 2021 की शुरुआत में किसानों के विरोध प्रदर्शन के दौरान अकाउंट्स को ब्लॉक करने की सरकार की मांगों को मानने से इनकार कर दिया था।
डॉर्सी ने कहा, सरकार की तरफ से उनके कर्मचारियों के घरों पर छापेमारी की बात कही गई। साथ ही नियमों का पालन नहीं करने पर ऑफिस बंद करने की भी धमकी दी गई और यह सब भारत जैसे लोकतांत्रिक देश में हुआ।
डॉर्सी ने कहा, भारत एक ऐसा देश है, जहां से किसान आंदोलन के दौरान हमारे पास बहुत सी मांगें आ रहीं थीं, कुछ खास पत्रकारों को लेकर जो सरकार के आलोचक थे। हमसे यहां तक कहा गया कि 'हम भारत में ट्विटर को बंद कर देंगे'। यह हमारे लिए बड़ा बाजार है।
डॉर्सी के आरोप पर केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक एवं आईटी राज्य मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने प्रतिक्रिया देते हुए इसे पूरी तरह झूठ करार दिया। चंद्रशेखर ने एक ट्वीट में कहा, यह जैक डॉर्सी द्वारा बोला गया सफेद झूठ है, शायद ट्विटर के इतिहास के उस बहुत ही संदिग्ध अवधि को मिटाने का प्रयास है। डॉर्सी और उनकी टीम के तहत ट्विटर भारतीय कानून का बार-बार और लगातार उल्लंघन कर रहा था।
मंत्री ने कहा कि वास्तव में वे 2020 से 2022 तक बार-बार कानून का उल्लंघन कर रहे थे और आखिरकार जून 2022 में उन्होंने इसका अनुपालन किया।
यूट्यूब शो 'ब्रेकिंग पॉइंट्स विद क्रिस्टल एंड सागर' में, ट्विटर के पूर्व CEO जैक डोर्सी ने आरोप लगाया कि, "किसानों के विरोध और पत्रकार जो सरकार के आलोचक थे, उनको लेकर भारत सरकार के पास से हमारे पास कई अनुरोध आए और कहा गया कि हमें(ट्विटर) भारत में बंद कर दिया जाएगा, जो हमारे लिए… pic.twitter.com/VBqNK3FXrs
— ANI_HindiNews (@AHindinews) June 13, 2023
चंद्रशेखर ने कहा, किसी के यहां छापा नहीं मारा गया और न किसी को जेल नहीं भेजा गया। हमारा ध्यान केवल भारतीय कानूनों के अनुपालन को सुनिश्चित करने पर था। डॉर्सी को भारतीय कानून की संप्रभुता को स्वीकार करने में परेशानी थी। उन्होंने ऐसा व्यवहार किया जैसे भारत के कानून उन पर लागू नहीं होते।
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