आतंकवादियों, भ्रष्टाचारियों का निजता का अधिकार नहीं होता

Last Updated 23 Feb 2020 06:10:03 AM IST

केंद्रीय कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने शनिवार को कहा कि आतंकवादियों और भ्रष्टाचारियों का ‘निजता का अधिकार नहीं होता’ और इन लोगों को इंटरनेट का दुरुपयोग नहीं करने देना चाहिए।


आतंकवादियों, भ्रष्टाचारियों का निजता का अधिकार नहीं होता

प्रसाद ने अंतरराष्ट्रीय न्यायिक सम्मेलन-2020 ‘न्यायपालिका एवं बदलती दुनिया’ के उद्घाटन में कहा कि यह स्वीकार करने की जरूरत है कि जो लोग मानव जाति की बेहतरीन चीजों का दुरुपयोग करते हैं वे सबसे बड़ा खतरा उत्पन्न करते हैं। ऐसी चीजों में इंटरनेट भी शामिल है।

उन्होंने कहा कि निजता के अधिकार को मौलिक अधिकार माना गया है और सरकार इसे स्वीकार करती है लेकिन आतंकवादियों और भ्रष्टाचारियों को निजता का कोई अधिकार नहीं है क्योंकि निजता के अधिकार ने विश्व स्तर पर डिजिटल परिदृश्य के विस्तार के मद्देनजर महत्वपूर्ण अनुपात हासिल कर लिया है।

उन्होंने कहा, यह सूचना युग है और सूचना शक्ति है। उन्होंने कहा कि उच्चतम न्यायालय का निजता के अधिकार को लेकर फैसला वैश्विक पथप्रदर्शन बन गया है, क्योंकि इसमें कहा गया है कि निजता का अधिकार संविधान के अनुच्छेद 21 से निकलता है।

प्रसाद ने कुछ लोगों की इस प्रवृत्ति के बारे में भी आगाह किया कि यदि अदालतें उनकी उम्मीद के अनुरूप फैसले नहीं दें तो वे पूरी ताकत से आलोचना करते हैं। उन्होंने कहा, लोकतंत्र में, हम असहमति का स्वागत करते हैं, हम लोकलुभावनवाद का स्वागत करते हैं। लेकिन समस्या तब होती है जब लोकलुभावनवाद संवैधानिक सिद्धांतों से टकराता है। संविधान के अनुसार यह स्पष्ट है कि शासन को निर्वाचित लोगों के लिए छोड़ दिया जाना चाहिए।

सहारा न्यूज ब्यूरो
नई दिल्ली


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