रमन बने भारतीय महिला क्रिकेट टीम के कोच
दक्षिण अफ्रीका के गैरी क्रस्टर्न पर तरजीह देते हुए पूर्व सलामी बल्लेबाज डब्ल्यूवी रमन को बृहस्पतिवार को भारतीय महिला क्रिकेट टीम का कोच नियुक्त किया गया जबकि चयन प्रक्रिया को लेकर प्रशासकों में आपसी मतभेद हैं।
पूर्व सलामी बल्लेबाज डब्ल्यूवी रमन (file photo) |
रमन (53 वषर्) इस समय बेंगलुरू में राष्ट्रीय क्रिकेट अकादमी में बल्लेबाजी सलाहकार के तौर पर काम कर रहे हैं। वह अगले महीने न्यूजीलैंड में पहली बार टीम के साथ जाएंगे।
बीसीसीआई अधिकारी ने कहा, ‘क्रस्टर्न बीसीसीआई की तदर्थ चयन समिति की पहली पसंद थे, लेकिन रमन को यह पद मिला क्योंकि क्रस्टर्न आईपीएल फ्रेंचाइजी रायल चैलेंजर्स बेंगलूर के साथ अपना पद छोड़ने को तैयार नहीं थे। उन्हें आईपीएल और राष्ट्रीय टीम में से एक को चुनने के बारे में मनाया नहीं जा सका।’ चयन समिति में पूर्व कप्तान कपिल देव, अंशुमन गायकवाड़ और एस रंगास्वामी शामिल हैं। विस्त सूत्र ने कहा कि पैनल ने बोर्ड को तीन नाम क्रस्टर्न, रमन और वेंकटेश प्रसाद (तरजीह के आधार पर) की सिफारिश की। लेकिन बीसीसीआई ने पद के लिए रमन को चुना।
प्रशासकों की समिति (सीओए) के बीच इस मुद्दे पर विभाजित विचारों के बावजूद यह नियुक्ति गई जिसमें डायना एडुल्जी ने चेयरमैन विनोद राय को चयन प्रक्रिया रोकने को कहा था। बीसीसीआई कोषाध्यक्ष अनिरूद्ध चौधरी ने भी प्रक्रिया पर सवाल उठाए और कहा कि इसे राय की मंजूरी मिली थी, एडुल्जी की नहीं। रमन ने देश के लिए 11 टेस्ट और 27 वनडे खेले हैं और इस समय वह देश के सबसे योग्य कोच में से एक हैं। वह तमिलनाडु और बंगाल जैसी बड़ी रणजी ट्रॉफी टीम को कोचिंग दे चुके हैं और भारत अंडर-19 टीम के साथ भी काम कर चुके हैं। उन्हें 1992-93 दौरे के दौरान दक्षिण अफ्रीका में शतक जड़ने वाले पहले भारतीय के रूप में भी याद किया जाता है।
क्रस्टर्न, रमन और प्रसाद के अलावा 28 आवेदकों में से जिन अन्य उम्मीदवारों को साक्षात्कार के लिए छांटा गया था, उनमें मनोज प्रभाकर, ट्रेंट जानस्टन, दिमित्री मास्करेन्हास, ब्रैंड हॉग और कल्पना वेकंटाचर शामिल थे। क्रस्टर्न के अलावा चार अन्य से स्काइपी पर और एक से फोन पर इंटरव्यू लिया गया। रमन, मनोज प्रभाकर और रमेश पोवार साक्षात्कार देने पहुंचे। भारत की पुरुष टीम को 2011 विश्व कप में खिताब दिलाने वाले क्रस्टर्न इन सभी में पहली पसंद थे। लेकिन इसके लिए उन्हें हितों के संभावित टकराव से बचने के लिए आरसीबी का पद छोड़ने की जरूरत थी। बीसीसीआई के मुख्य कार्यकारी अधिकारी राहुल जौहरी ने भी क्रस्टर्न और आरसीबी अधिकारियों से बात की लेकिन इस पर सहमति नहीं बन सकी। तदर्थ पैनल ने भी क्रस्टर्न को स्पष्ट किया कि उन्हें राष्ट्रीय टीम की भूमिका संभालने के लिए आरसीबी का पद छोड़ना होगा।
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