दिल्ली सरकार 'श्रमिक मित्रों' को करेगी प्रशिक्षित

Last Updated 09 Nov 2021 12:33:56 PM IST

दिल्ली सरकार राष्ट्रीय राजधानी में 700 से 800 'श्रमिक मित्रों' को प्रशिक्षित करेगी, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि पंजीकृत निर्माण श्रमिक सरकार द्वारा उनके लिए प्रस्तावित सहायता योजनाओं से अवगत हैं।


उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया (फाइल फोटो)

उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा, "इस कार्यक्रम के तहत 700 से 800 श्रमिक मित्रों को प्रशिक्षित किया जाएगा जो जिला, विधानसभा और वार्ड स्तर के समन्वयक के रूप में काम करेंगे। यह सुनिश्चित किया जाएगा कि सभी वाडरें में कम से कम 3-4 श्रमिक मित्र हों जो निर्माण श्रमिकों की मदद कर सकें।

उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि इन श्रमिक मित्रो का कार्य निर्माण बोर्ड द्वारा पंजीकृत निर्माण श्रमिकों को सरकार की सहायता योजनाओं के बारे में सूचित करना, इसके लिए आवेदन करना और श्रमिकों को योजना का लाभ मिलने तक उनकी मदद करना होगा।

दिल्ली में लगभग छह लाख निर्माण श्रमिकों ने केजरीवाल सरकार द्वारा शुरू किए गए विभिन्न पंजीकरण परिसरों के माध्यम से निर्माण बोर्ड में अपना पंजीकरण कराया है।

उन्होंने कहा कि मजदूरों के बच्चों में प्रतिभा होती है लेकिन वे बड़े सपने देखने से डरते हैं। उन्हें आश्वस्त करना होगा कि आईआईटी जैसा संस्थान बनाने वाले मजदूर का बच्चा भी आईआईटी में पढ़ सकता है। उन्हें पढ़ने दें और सरकार उनकी मदद करेगी। इस देश में संसद तक सड़क बनाने वाले मजदूर आज भी समाज में हाशिए पर हैं। यह आज के समाज की कड़वी सच्चाई है। दिल्ली सरकार अपनी लाभकारी योजनाओं के माध्यम से इन हाशिए के समुदायों को सम्मान दिलाने के लिए काम कर रही है।

दिल्ली सरकार आवास निर्माण के लिए 3-5 लाख रुपये की सहायता प्रदान करती है, 30,000 रुपये का मैटरनिटी बेनिफिट, ऋण के रूप में 20,000 रुपये और उपकरणों की खरीद के लिए अनुदान के रूप में 5,000 रुपये, श्रमिकों की प्राकृतिक मृत्यु पर 1 लाख रुपये और आकस्मिक मृत्यु पर 2 लाख रुपये, विकलांगता के मामले में 1 लाख रुपये, और 3,000 रुपये प्रति माह पेंशन, 500-10,000 रुपये प्रति माह स्कूली शिक्षा और बच्चों की उच्च शिक्षा के लिए, और श्रमिकों और उनके बच्चों की शादी के लिए 35,000 रुपये की सहायता करती है।
 

आईएएनएस
नई दिल्ली


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