राजधानी दिल्ली में चांदनी चौक इलाके में विस्फोट से एक की मौत, दस जख्मी
लाहौरी गेट थानातंर्गत पुरानी दिल्ली के भीड़भाड़ वाले चांदनी चौक इलाके के नया बाजार पटटी वाली गली में मंगलवार सुबह हुए जबरदस्त विस्फोट में एक व्यक्ति की मौत हो गई जबकि 10 अन्य जख्मी हो गए.
चांदनी चौक स्थित नया बाजार में हुए विस्फोट में एक युवक की मौत के बाद मौका मुआयना करती पुलिस. |
पुलिस ने प्राथमिक जांच के आधार पर दावा किया कि प्लाटिक के दो बैगों में रखे गए पटाखे में यह विस्फोट हुआ जबकि सूत्र बता रहे हैं कि उच्च कोटि के विस्फोटक के चलते धमाका इस कदर हुआ कि मौके पर काफी देर तक अंधेरा छाया रहा जबकि धमाके की आवाज से कई इमारतों के दरवाजे व खिड़कियां आदि क्षतिग्रस्त हो गई.
बहरहाल पुलिस मामले की गहन छानबीन में जुटी हुई है. उधर, केन्द्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने इस बाबत पुलिस आयुक्त आलोक वर्मा से बात कर घटना की पूरी जानकारी ली. उन्होंने घटना के मद्देनजर विस्तृत रिपोर्ट भी तलब की है. पुलिस उपायुक्त मधुर वर्मा ने बताया कि विस्फोट की यह घटना मंगलवार सुबह साढ़े 10 बजे के करीब नया बाजार की पट्टी वाली गली में सरस्वती ट्रेडर्स के समीप हुई.
आतंकी घटना से पुलिस का इनकार नहीं
त्योहार के समय में पुरानी दिल्ली के एक भीड़-भाड़ वाले बाजार में हुई धमाके की घटना की गुत्थी सुलझाने के लिए उत्तरी जिला पुलिस , स्पेशल सेल, क्राइम ब्रांच समेत अन्य जांच एजेंसियां जुटी हुई है.
सूत्रों ने दावा किया कि घटनास्थल से एकत्र किए गए बारूद के नमूने की फोरेसिंक जांच के बाद यह तय हो पाएगा कि यह धमाका पटाखा में हुआ था या फिर प्लास्टिक बैग में पटाखे के अलावा कोई अन्य विस्फोटक रखे जाने से यह घटना हुई. पुलिस ने दावा किया कि घटनास्थल पर लगे एक सीसीटीवी कैमरे के फुटेज से भी मामले की गुत्थी सुलझाने में पुलिस टीमे जुटी है. बहरहाल पुलिस ने इस घटना को किसी आतंकी साजिश से भी इंकार नहीं किया है और पुलिस का कहना है कि सभी पहलुओं से गहन जांच जारी है.
पुलिस सूत्रों ने बताया कि लाहौरी गेट में नया बाजार पट्टे वाली गली में मंगलवार सुबह हुआ धमाका इतना भीषण था कि आसपास के करीब 200 मीटर के दायरे में दुकानों और मकानों की खिड़कियों के शीशे टूट कर बिखर गए थे. आतंकी विस्फोट की आशंका के चलते घटना के कुछ ही देर बाद मौके पर दिल्ली पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी, फोरंसिक टीम, एंटी टेरर विंग क्राइम ब्रांच तथा स्पेशल सेल समेत अन्य जांच एजेंसियों से जुड़े अधिकारी पहुंच गए.
जिस प्लास्टिक के दो बोरे में धमाका हुआ, उसमें बताया जाता है कि पटाखे भरे थे और इस पटाखे को सदर बाजार तथा कुतुब रोड में पटाखे की लाइसेंसी दुकान चलाने वाले व्यवसायी मुख्तियार अहमद ने मुतलिप मिर्जा नामक मजदूर को दिए थे. सूत्रों ने बताया कि इस घटना के बाद से मुख्तियार अहमद जहां फरार है वहीं पुलिस टीमें फरार आरोपी के नेटवर्क को खंगालने में जुटी हैं. पुलिस का कहना है कि घटनास्थल पर विस्फोट के बाद चारों तरफ बारूद व कागज की कतरनें बिखरी पड़ी थीं और विस्फोट की क्वालिटी जांच के लिए फोरसिंक एक्सपर्ट की मदद ली जा रही है.
पुलिस को जांच में पता चला है कि इस घटना में जान गंवाने वाला मोतालिप मिर्जा लाहौरी गेट इलाके में चावल कारोबारियों के यहां लोडर का काम करता था और जांच में साफ हुआ है कि वह लाहौरी गेट के हवस खाना स्थित गली जकारिया मोहल्ला फाटक से प्लास्टिक का बड़ा बोरा सिर पर रखकर चला था.
इस बीच पुलिस टीम को ब्लास्ट वाली जगह से जो सीसीटीवी फुटेज मिला है. उसमें सिर पर रखकर जाते हुए मुतलिप मिर्जा साफ दिख रहा है. फुटेज में मस्जिद के करीब पहुंचते ही अचानक संदिग्ध हालात में वह बोरा नीचे जमीन पर रखता है और इसके बाद बोरे से आग के बड़े गोले के साथ वहां जबरदस्त धमाका हो जाता है.
प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि धमाका होते ही मौके पर अफरातफरी मच गई और लोग इधर उधर भागकर अपनी जान बचाते हुए दिखे. दिल्ली पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया जिस समय यह धमाका हुआ उस समय बाजार खुल ही रहा था और मौके पर ज्यादा लोग नहीं थे. अगर बाजार पुरी तरह से खुलने के बाद यह धमाका होता तो नुकसान ज्यादा हो सकता था. हालांकि चश्मदीदों का कहना है कि यह पटाखों का धमाका नहीं है क्योंकि अगर पटाखों का होता तो कुछ देर तक पटाखे बजने का शोर आता लेकिन ऐसा कुछ भी नहीं हुआ.
धमाके से अफरा-तफरी : लाहौरी गेट में मंगलवार सुबह हुए धमाके के बाद मौके पर काफी देर तक अफरातफरी मची रही. मौके पर मौजूद लोगों ने जहां इधर उधर भागकर अपनी जान बचाई वहीं स्थानीय लोग यह मानने को बिल्कुल भी तैयार नहीं है कि यह घटना महज पटाखा की वजह से हुआ है. विशेष पुलिस आयुक्त एसबीके सिंह ने बताया कि प्रारंभिक जांच में पाया गया है कि ब्लास्ट पटाखों में ही हुआ.
पुलिस टीम ने ऐसे ही प्लास्टिक के कुछ और बैग वहां से बरामद किए हैं. जिनमें पटाखे भरे हुए हैं. पहले पुलिस की तरफ से यह कहा गया कि मजदूर ने घटना के वक्त बीड़ी पी रहा था, इस वजह से यह घटना हुई. बाद में इस घटना को सिलेंडर बलास्ट करार दिया गया लेकिन सचाई यह है कि जिस इमारत के नीचे यह धमाका हुआ वह इमारत भी बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गई थी.
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