नीतीश ने सीआरपीएफ जवानों के मारे जाने पर गहरा शोक व्यक्त किया, मुआवजे की घोषणा की

Last Updated 19 Jul 2016 04:34:24 PM IST

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने माओवादियों के साथ मुठभेड़ में सीआरपीएफ के 10 जवानों के मारे जाने की घटना पर गहरा दुख जताया और शहीद हुए सुरक्षाकर्मियों के परिवारों के लिए मुआवजे की घोषणा की.


बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (फाइल फोटो)

नीतीश कुमार ने गया जिले के बांकेबाजार थाना अंतर्गत डुमरी नाले के पास माओवादियों के साथ मुठभेड़ एवं सिलसिलेवार आईईडी विस्फोट में कोबरा बटालियन के 10 जवानों के मारे जाने की घटना पर गहरा शोक व्यक्त करते हुए मंगलवार को  कहा कि वह इस घटना से मर्माहत हैं. उन्होंने शहीद हुए सुरक्षाकर्मियों के परिवारों के लिए मुआवजे की घोषणा भी की.

मुख्यमंत्री कार्यालय से जारी एक प्रेस विज्ञप्ति के अनुसार मुख्यमंत्री ने बिहार सरकार के प्रावधान अनुसार सभी शहीद जवानों के निकटतम परिजनों को राज्य सरकार की ओर से पांच-पांच लाख रुपये का अनुदान तुरंत उपलब्ध कराने का भी निर्देश गृह विभाग को दिया है. इसके अतिरिकत नक्सल जिलों में क्रियान्वित विशेष योजना के तहत शहीद जवानों के परिजनों को 20-20 लाख रुपये की बीमा राशि उपलब्ध कराई जायेगी.

मुख्यमंत्री ने मुख्य सचिव अंजनी कुमार सिंह, पुलिस महानिदेशक पीके ठाकुर एवं गृह विभाग के प्रधान सचिव आमिर सुबहानी को गया जाकर स्थिति का जायजा लेने एवं सभी आवश्यक कार्रवाई सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है. मुख्यमंत्री की ओर से मुख्य सचिव गया में शहीद जवानों को पुष्पाजंलि अर्पित करेंगे.

नीतीश की घटना के मद्देनजर केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह से दूरभाष पर बातचीत हुयी है. मुख्यमंत्री ने सभी घायल जवानों को हरसंभव चिकित्सा सहायता उपलब्ध कराने का भी निर्देश दिया है. इस बीच, बिहार पुलिस मुख्यालय ने आज मृतकों और घायलों विस्तृत सूची जारी की.

अपर पुलिस महानिदेशक (मुख्यालय) सुनील कुमार ने संवाददाताओं को बताया कि इस मुठभेड़ और विस्फोटों में शहीद हुए सीआरपीएफ-205 कोबरा बटालियन, बरवाडीह के दस जवानों में बिहार के खगडिया जिले के पसराहा थाना क्षेत्र के झंझरा गांव निवासी दिवाकर कुमार, बक्सर जिला के नावानगर थाना अंतर्गत परमेश्वरपुर गांव निवासी अनिल कुमार सिंह और सीवान जिला के असॉव थाना अंतर्गत खोरादरा गांव निवासी रवि कुमार भी शामिल हैं.

उन्होंने बताया कि अन्य शहीद हुए जवानों में पश्चिम बंगाल के नादिया जिला के छबरा थाना अंतर्गत जमरेदंगा गांव निवासी दीपक घोष, दक्षिणी दिनाजपुर जिला के टापन थाना अंतर्गत सलाश गांव निवासी पोलाश मंडल, उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर जिले के ककरोली थाना अंतर्गत कटिया गांव निवासी हरविन्दर पवार एवं आजमगढ़ जिले के निजामाबाद थाना अंतर्गत गौसपुर गांव निवासी सिनोद कुमार, मध्य प्रदेश के बैतूल जिले के मुलतई थाना अंतर्गत परमानदाल गांव निवासी मनोज कुमार, पंजाब के होशियारपुर जिला के नागल बिहला थाना अंतर्गत रनसोता गांव निवासी रमेश कुमार तथा मणिपुर के थौवाल जिले के थौवाल थाना अंतर्गत हेयरोक गांव निवासी के. उपेन्द्र सिंह शामिल हैं.



उन्होंने बताया कि इस मुठभेड़ में घायल हुए पांच जवानों का इलाज गया जिला स्थित अनुग्रह नारायण मेडिकल कालेज में जारी है . तीन अन्य घायल जवानों का इलाज पटना स्थित रुबन मेमोरियल अस्पताल में चल रहा है जिनकी हालत खतरे से बाहर है. इन घायल जवानों में बिहार के अरवल जिले के अरवल थाना अंतर्गत वासिलपुर गांव निवासी मिथुन गोस्वामी और आन्ध्र प्रदेश के विशाखापटनम जिले के पाईक लौपट्टी थाना क्षेत्र के एसआईडीएस राव, उत्तर प्रदेश निवासी उदय भान सिंह, एवं रविशंकर यादव तथा छत्तीसगढ़ निवासी पंचम राय आर्य हैं.

अपर पुलिस महानिदेशक (मुख्यालय) सुनील कुमार ने इस वारदात को प्रतिबंधित नक्सली संगठन भाकपा माओवादी द्वारा अंजाम दिए जाने का दावा करते हुए कहा कि ऐसा आकलन इस संठगन द्वारा पूर्व में अंजाम दी गयी घटनाओं के आधार पर किया जा रहा है. उन्होंने बताया कि इस मुठभेड़ में मारे गए तीन माओवादियों की पहचान की जा रही है तथा अन्य जख्मी माओवादियों की गिरफ्तारी के लिए उस इलाके में तलाशी अभियान जारी है.

यह पूछे जाने पर कि क्या इस दौरान औरंगाबाद और गया जिला पुलिस तथा सीआरपीएफ के बीच समन्वय की कमी रही है, उन्होंने कहा कि क्या चूक हुई और क्या कमी रही, यह सब जांच का विषय है. इस तरह की घटना से हमें क्या सबक मिलता है, इस बारे में समीक्षा निश्चित रूप से की जाती है और कोई कमी रहने पर उसे भविष्य में दुरुस्त किया जाता है.

 

 



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