इस त्योहारी सीजन में चार लाख करोड़ से ज्यादा का कारोबार
व्यापारियों के लिए इस साल की दिवाली बड़ी शुभ साबित हो रही है।
इस त्योहारी सीजन में चार लाख करोड़ से ज्यादा का कारोबार |
इस बार बाजार में खूब खरीदारी हो रही है। धनतेरस यानी मंगलवार को दिल्ली ही नहीं देश भर के बाजारों में आधी रात तक दुकान सजे रहे और लोग खरीदारी करते रहे। इस अवसर पर देश भर के बाजारों में करीब 60,000 करोड़ रुपये का कारोबार हुआ है। यदि इस पूरे त्योहारी मौसम की बात करें तो करीब सवा चार लाख करोड़ रुपये के व्यापार का अनुमान है। हालांकि, इस साल लोग लोकल फोर वोकल हो रहे हैं। इस वजह से सिर्फ दिवाली में ही चीन को सवा लाख करोड़ रुपये का फटका लगा है। जानकार बता रहे हैं कि रक्षा बंधन, नवरात्रि और करवा चौथ पर बाजारों में भारी भीड़ रही। साथ ही दिवाली के पहले से ही बाजार में खरीदारों का हुजूम उमड़ पड़ा है। ऐसे में जानकारों ने इस वर्ष दिवाली के त्योहारों के सीजन में व्यापारियों द्वारा 4.25 लाख करोड़ के व्यापार करने की उम्मीद जताई है। सिर्फ दिल्ली में यह व्यापार लगभग 75 हज़ार करोड़ रुपये के होने का अनुमान है।
जानकर बता रहे हैं कि इस साल धनतेरस के मौके पर देश भर में लगभग 60 हजार करोड़ रुपये का कारोबार हुआ है। एक चीज अच्छी रही कि इस दिवाली पर वोकल फॉर लोकल का दर्शन पूरी तरह बाज़ारों में दिख रहा है। इस समय बाजार में लगभग सारी खरीदारी भारतीय सामानों की ही हो रही है। एक अनुमान के अनुसार दिवाली से जुड़े चीनी सामानों की बिक्री अब न होने से चीन को लगभग 1 लाख 25 हज़ार करोड़ रुपये के व्यापार की चपत लगी है ।
इस धनतेरस पर देश भर में करीब 20,000 करोड़ रुपये का सोना और लगभग 2,500 करोड़ रुपये की चांदी खरीदी गई। इस वर्ष धनतेरस पर सोने और चांदी की बिक्री में वृद्धि हुई है। देश में लगभग चार लाख छोटे और बड़े ज्वेलर्स काम करते हैं। भारतीय मानक ब्यूरो में करीब 2 लाख ज्वेलर्स पंजीकृत हैं जिन्होंने कल लगभग 25 टन सोने की बिक्री की। इसका मूल्य 20 हज़ार करोड़ रुपये तथा। इसी तरह देश भर में 250 टन चांदी बिकी, जिसकी कीमत लगभग 2,500 करोड़ रुपये है।
धनतेरस के अवसर पर पिछले वर्ष सोने का भाव 60 हजार रुपये प्रति 10 ग्राम था। यह इस साल बढ़ कर 81,211 रुपये पर पहुंच गया। इसी तरह चांदी का भाव पिछले वर्ष 70 हजार रुपये प्रति किलो था, जो अब 1 लाख रुपये पर पहुंच गया है। इसलिए, वजन में बिक्री कम होने के बावजूद भी मुद्रा के रूप में बिक्री बढ़ी है। इसके अलावा पुराने चांदी के सिक्के की भी जबरदस्त मांग रही जो लगभग पूरे देश में 1200 से 1300 प्रति नग बिका। इस साल मिट्टी के दीयों की बाजार में खूब मांग है। लोकल लेवल पर रिटेल में 10 रुपये के 12 और 20 रुपये के 25 मिट्टी के दीये मिल रहे हैं। बड़ा वाला दीया 10 रुपये में एक मिल रहा है। वैसे दिवाली में मिट्टी के दीये, खिलौने, सजावट के सामाना आदि की घर-घर में खरीदारी होती है। इससे कुम्हारों और अन्य शिल्पियों की आमदनी बढ़ेगी। मतलब कि उनकी दिवाली अच्छे से मनेगी।
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