सीतारमण ने जन धन योजना को वित्तीय समावेशन के लिए बड़ा कदम बताया

Last Updated 29 Aug 2022 12:08:51 PM IST

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने प्रधानमंत्री जन धन योजना (पीएमजेडीवाई) को वित्तीय समावेशन की दिशा में एक बड़ा कदम बताया जा रहा है।


वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (फाइल फोटो)

सीतारमण ने कहा है कि कार्यक्रम की सफलता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि पिछले आठ सालों में 46 करोड़ बैंक खाते खोले गए हैं जिसमें डिपोजिट बैलैंस 1.74 लाख करोड़ रुपये है। रविवार को योजना के आठ साल पूरे होने के अवसर पर जारी एक बयान में, वित्त मंत्री ने कहा कि ग्रामीण या अर्ध-शहरी क्षेत्रों में पीएमजेडीवाई का 67 प्रतिशत विस्तार हुआ है। वहीं, इसमें 56 फीसदी खाताधारक महिलाएं हैं। यह योजना 28 अगस्त 2014 को लागू की गई थी।

सीतारमण ने कहा, योजना को 2018 से आगे जारी रखने से देश में उभरते वित्तीय समावेशन परि²श्य की चुनौतियों और आवश्यकताओं को पूरा करने में एक उल्लेखनीय बदलाव आया है। 'हर घर' से 'हर वयस्क' पर ध्यान केंद्रित किया गया है। इन खातों के जरिए प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण (डीबीटी), रुपे कार्ड के उपयोग से डिजिटल भुगतान को बढ़ावा दिया गया है।''

वित्त मंत्री ने आगे कहा कि जन धन को आधार और मोबाइल से जोड़ कर विभिन्न सरकारी कल्याणकारी योजनाओं के तहत लाभार्थियों को प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण (डीबीटी) किया गया
है।

वित्तीय समावेशन पारिस्थितिकी तंत्र के तहत बनाए गए आरकीटेक्चर का लाभ कोविड-19 महामारी के दौरान मिला, जब इससे किसानों को प्रत्यक्ष आय सहायता और प्रधानमंत्री गरीब कल्याण पैकेज के तहत महिला जन धन खाताधारकों को अनुग्रह राशि के हस्तांतरण की सुविधा मिली, उन्होंने कहा।
 

आईएएनएस
नई दिल्ली


Post You May Like..!!

Latest News

Entertainment