उत्तराखण्ड में हर ब्लॉक में ऑटोमेटेड वेदर स्टेशन, रेन गेज स्थापित किया जाऐगा

Last Updated 09 Aug 2016 12:44:54 PM IST

उत्तराखण्ड प्रदेश सरकार प्रदेश के 95 विकासखंडो में एक-एक ऑटोमेटेड वैदर स्टेशन और आटोमेटेड रेन गेज स्थापित करेगी.


(फाइल फोटो)

दूसरे चरण में ग्राम पंचायत तक इसका विस्तार किया जाएगा. इससे बारिश और मौसम के बारे में सटीक अनुमान लगाया जा सकेगा. सोमवार को सचिवालय में मुख्य सचिव शत्रुघ्न सिंह और कर्नाटक स्टेट नेचुरल डिजास्टर मॉनिटरिंग मैकेनिज्म (केएसएनडीएम) के निदेशक जीएस श्रीनिवास रेड्डी के बीच समझौता ज्ञापन (एमओयू ) पर हस्ताक्षर किए गए.

बता दें कि राष्ट्रीय सहारा इस बाबत समाचार काफी पहले प्रकाशित कर चुका है कि प्रदेश सरकार जल्द ही कर्नाटक की मदद से अपना मौसम पूर्वानुमान सिस्टम स्थापित करेगी. अब तक प्रदेश सरकार मौसम संबंधी जानकारी के लिए केंद्र के मौसम विभाग पर निर्भर है.



विश्व बैंक की परियोजना हाइड्रो मैटिरियोलाजिकल नेटवर्क के तहत सरकार दैवीय आपदा के बारे में पूर्वानुमान का नेटवर्क स्थापित करेगा. इस मामले में कर्नाटक सरकार ने ग्राम पंचायत स्तर तक नेटवर्क बनाया है.

कर्नाटक में जीपीआरएस आधारित टेलीमैट्रिक रेनगेज स्टेशन है. इसके अलावा सेंसर आधारित वैदर स्टेशन है.

ग्राम पंचायत स्तर तक मौसम विज्ञानी पूर्वानुमान की जानकारी किसानों को देते है. 10 लाख एसएमएस किसानों को मौसम के बारे में रोज दिए जाते है.

कर्नाटक की इस विशेषज्ञता को देखते हुए उत्तराखंड सरकार ने ऐसे नेटवर्क की स्थापना के लिए एमओयू पर दस्तखत किए हैं



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