स्वास्थ्य पर केंद्र को फटकार, राज्य का विषय होने का बहाना बंद करे केंद्र
नई राष्ट्रीय स्वास्थ्य नीति और सतत विकास लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए केंद्र सरकार द्वारा मिशन मोड में काम करने की जरूरत बताते हुए संसद की एक समिति ने कहा है कि केंद्र को बार-बार बहाना बनाना बंद कर देना चाहिए कि स्वास्थ्य राज्य का विषय है.
वरिष्ठ भाजपा नेता मुरली मनोहर जोशी (file photo) |
देश में चिकित्सा शिक्षा एवं स्वास्थ्य परिचर्या पर प्राक्कलन समिति की रिपोर्ट में कहा गया है कि राष्ट्रीय स्वास्थ्य सर्वेक्षण के 71वें दौर के मुताबिक देश में ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में बीमारियों के लगभग 70 प्रतिशत से अधिक मामलों में उपचार के स्रोत के रूप में निजी चिकित्सक और निजी क्षेत्र सर्वाधिक महत्वपूर्ण कारक बनकर उभरा है.
शुक्रवार को समाप्त हुए शीतकालीन सत्र में लोकसभा में प्रस्तुत स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय से संबंधित इस रिपोर्ट में कहा गया है कि इसके चलते ब्रिक्स अर्थव्यवस्थाओं में भारत ऐसा देश बनकर उभरा है जहां स्वास्थ्य देखभाल पर प्रति व्यक्ति अपनी जेब से किया जाने वाला खर्च सबसे ज्यादा है.
वरिष्ठ भाजपा नेता मुरली मनोहर जोशी की अध्यक्षता वाली समिति ने कहा कि स्वास्थ्य के विकास लक्ष्यों के अनुसार सरकार को सुनिश्चित करना है कि 2030 तक स्वास्थ्य संबंधी सुविधाएं सभी को सुलभ हों.
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