कुलभूषण जाधव के परिवार ने विदेश मंत्री सुषमा स्वराज से की मुलाकात

Last Updated 26 Dec 2017 02:52:47 PM IST

जासूसी के आरोप में पाकिस्तान में कैद एवं मौत की सजा सुनाए गये भारतीय नौसेना के अधिकारी कमांडर कुलभूषण जाधव की मां अवंतिका जाधव और पत्नी चेतना जाधव ने आज विदेश मंत्री सुषमा स्वराज से भेंट की.


जाधव की मां, पत्नी ने सुषमा से की मुलाकात

जाधव परिवार की दोनों महिलाएं आठ सफदरजंग लेन स्थित स्वराज के निवास पर करीब दो घंटे रहीं. इस दौरान विदेश सचिव एस जयशंकर और विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार भी वहां मौजूद थे. मुलाकात के बाद दोनों महिलाएं जवाहरलाल नेहरू भवन स्थित विदेश मांलय भी गयीं जहां उनकी अन्य अधिकारियों से भेंट हुई.
       
दोनों महिलाएं कल पाकिस्तान की राजधानी इस्लामाबाद में कमांडर जाधव से मिल कर लौटीं हैं. पाकिस्तान सरकार ने कहा था कि उसने कायदे आाम मोहम्मद अली जिन्ना के जन्मदिन के मौके पर ‘इस्लामिक शिक्षाओं’ के आधार पर जाधव से उनकी मां एवं पत्नी को मिलने की अनुमति दी थी लेकिन कांच की दीवार के दरम्यान इंटरकॉम से हुई इस मुलाकात की भारत में तीखी आलोचना हुई है.
        
इस मुलाकात के दौरान पाकिस्तान में भारत के उप उच्चायुक्त जे पी सिंह भी मौजूद थे लेकिन उन्हें भी बातचीत सुनने की इजात नहीं दी गयी. करीब 40 मिनट तक चली इस मुलाकात के दौरान जाधव ने अंग्रेजी में वार्तालाप किया. वह मातृभाषा मराठी या हिन्दी में नहीं बोले.

वरिष्ठ अधिवक्ता हरीश साल्वे के अनुसार ऐसा प्रतीत हो रहा था कि कमांडर जाधव पाकिस्तानी अधिकारियों की लिखी स्क्रिप्ट के हिसाब से बात कर रहे थे और संभवत: वह नशीली दवाओं के प्रभाव में थे.


       
उल्लेखनीय है कि कमांडर जाधव को गत वर्ष मार्च में गिरफ्तार किया था. पाकिस्तान का कहना है कि उसके सुरक्षा बलों ने मार्च 2016 में बलूचिस्तान प्रांत से जाधव उर्फ हुसैन मुबारक पटेल को गैरकानूनी रूप से पाकिस्तान में प्रवेश करने और जासूसी के साथ ही तोड़फोड़ की गतिविधियों में संलिप्त रहने के आरोप में गिरफ्तार किया था. 

दूसरी तरफ भारत ने कहा है कि जाधव का ईरान से उस वक्त अपहरण कर लिया गया था, जब वह भारतीय नौसेना से सेवानिवृत्ति के बाद अपने व्यवसाय के सिलसिले में वहां गये थे लिहाजा उनके जासूस होने का कोई प्रश्न ही नहीं उठता.
      
पाकिस्तान की सैन्य अदालत ने इसी वर्ष अप्रैल में जाधव को जासूसी और आतंकवाद के आरोप में फांसी की सजा सुनायी थी. भारत ने इसका विरोध करते हुए अंतरराष्ट्रीय न्यायिक अदालत(आईसीजे) का रुख किया जहां कमांडर जाधव फांसी की सजा पर स्थगन दे दिया गया है. आईसीजे में यह मुकदमा जारी है और भारत को उम्मीद है कि कमांडर जाधव की रिहाई संभव हो सकेगी.

 

वार्ता


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