मानवता का संदेश देता संत कबीर की निर्वाणस्थली

मगहर: मानवता का संदेश देता संत कबीर की निर्वाणस्थली

(1) कबीर धुनी और गोरखतलैया : यह स्थान कबीर समाधि स्थल से 1 किलोमीटर दूर आमी नदी के पार कसरवल गांव में राष्ट्रीय राजमार्ग पर है. कहा जाता है कि कबीर साहब का पहला आगमन यहीं हुआ था. उस समय महान योगी गुरू गोरखनाथ को यहां आमंत्रित किया गया था. उन्होंने आकर यहां धुनी लगाई. उस समय वहां इकठ्ठा लोगों ने जल के संकट की बात कही. तो कबीर साहब ने कहा कि गुरू गोरखनाथ हठयोगी हैं. ये आप के दुख को खत्म करेंगे. गोरखनाथ ने पुवी को अपने पैर से दबाया तो जलस्रोत फूट गया. वहीं एक छोटी-सी तलैया बन गई. कबीर धुनी और गोरख तलैया परस्पर स्पर्धी चमत्कार के प्रतीक हैं.

 
 
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