बेहतर होती संभावनाएं
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा है कि विश्व में युवाओं के सामने नये अवसरों के संकट के बावजूद भारत में सरकारी और गैर-सरकारी, दोनों क्षेत्रों में नई नौकरियों की संभावनाएं बढ़ रही हैं।
बेहतर होती संभावनाएं |
कोविड महामारी और यूक्रेन युद्ध के चलते पैदा हुई वैश्विक कठिन आर्थिक परिस्थितियों के बीच यह स्थिति उत्साहजनक है। बड़ी बात यह है कि नये रोजगार अवसर युवाओं के उनके अपने शहर, गांव में बन रहे हैं। इससे युवाओं के सामने पलायन की मजबूरी कम हुई है, और वे अपने क्षेत्र के विकास में भी सहयोग दे पाएंगे।
दस लाख कर्मियों के लिए भर्ती अभियान ‘रोजगार मेला’ के तहत मंगलवार को 71,056 युवाओं को नियुक्ति पत्र सौंपते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि युवाओं को रोजगार देने का सिलसिला अनवरत जारी रहेगा क्योंकि उनकी सरकार मिशन मोड में काम कर रही है।
मोदी ने कहा कि स्टार्ट-अप से लेकर स्वरोजगार तक, स्पेस से लेकर ड्रोन तक, आज भारत में युवाओं के लिए चौतरफा अवसर बढ़ रहे हैं। सेवा निर्यात के मामले में तो भारत दुनिया की एक बड़ी शक्ति बन गया है। प्रधानमंत्री ने नवनियुक्त कर्मियों के लिए आयोजित होने वाले ऑनलाइन ओरिएंटेशन कोर्स ‘कर्मयोगी प्रारंभ’ की भी शुरुआत की।
इस प्रशिक्षण सुविधा से जुड़कर कर्मचारी अपनी कार्यकुशलता को अद्यतन कर सकेंगे। इस प्रकार रोजगार के बाजार में अपनी उपयोगिता साबित करने में सक्षम हो सकते हैं। आज पूरे विश्व में संकट है, और देशों की अर्थव्यवस्थाओं को लेकर तमाम अंदेशे हैं। इस कदर कि अनेक बहुराष्ट्रीय कंपनियां अपनी श्रम बल में छंटाई करने को विवश हैं। ऐसे में जरूरी है कि श्रम बल ज्यादा से ज्यादा कुशल हो। कुशल श्रम शक्ति की मांग को पूरा करने के मामले में भारत लाभ की स्थिति में है।
देश में युवाओं की संख्या ज्यादा है, और स्वयं को अद्यतन करने की युवाओं में तत्परता भी है। अनेक कार्यक्रम आरंभ किए गए हैं, ताकि युवा कौशल में इजाफा हो सके। इस कड़ी में पीएलवाई-प्रोडक्शन लिंक्ड इंसेटिव-जैसी योजनाएं आरंभ की गई हैं ताकि विनिर्माण क्षेत्र में भारत विश्व का पावर हाउस बन सके। इसके लिए उद्योग का कार्यक्षम होना जरूरी है। ऐसा होने के लिए जरूरी है कि श्रम बल कुशल हो। यदि ऐसा हो सका तो अनुमान के मुताबिक, पीएलवाई से ही देश में कम से कम 60 लाख रोजगारों का सृजन किया जा सकेगा। कहना होगा कि देश में रोजगार सृजन का उत्साहवर्धक माहौल तैयार हो रहा है। निश्चित ही इससे अर्थव्यवस्था को संबल मिलेगा।
Tweet |